ग्रीस के पास नौका डूबने की घटना में 27 पाकिस्तानी शरणार्थियों की मौत के बाद देश में उठे विवाद से शहबाज शरीफ की सरकार हिल गई है। पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को भी इससे सरकार और एस्टबलिशमेंट को घेरने का एक मौका मिला है।
इस मुद्दे पर हो रही अपनी आलोचना को टालने की कोशिश में शरीफ सरकार ने सोमवार को देश भर में शोक दिवस मनाने का फैसला किया। साथ ही पाकिस्तानियों को गैर-कानूनी ढंग से देश से लोगों को बाहर ले जाने की घटनाओं की जांच कराने की घोषणा की।
यूरोप में गैर-कानूनी ढंग से प्रवेश कराने के लिए जा रही नौका के डूबने से कुल 79 लोग मर गए थे। बाद में पता चला कि नौका पर बड़ी संख्या में पाकिस्तानी सवार थे। जो लोग इस हादसे में बच गए, उनमें 12 पाकिस्तानी हैं। उन लोगों के अलावा तकरीबन 50 और पाकिस्तानी नौका पर सवार थे, जो अभी लापता हैं।
लोग इसे बेलगाम जारी मानव तस्करी का नतीजा मान रहे हैं और इसे रोक पाने में नाकामी के लिए सरकार की आलोचना हो रही है। इमरान खान ने कहा है कि पाकिस्तान में शुरुआत से ही कानून का राज कायम करने के बजाय कुछ लोगों और खास तबकों का राज रहा है।