सुबोध पाठक
जसवन्तनगर/इटावा। ब्रह्माणी मंदिर पर लाखों रूपये की लागत से बना सामुदायिक शौचालय और पानी की टंकी शोपीस बने हुए हैं इस कारण श्रद्धालुओं को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
बताया गया है कि इस सामुदायिक शौचालय के निर्माण पर करीब तीन लाख रुपए खर्च किया गया तथा यह सितंबर 2019 में बनकर तैयार हुआ और तभी से बंद पड़ा है। पिछले साल इसके विधिवत संचालन हेतु ग्राम पंचायत की ओर से एक महिला की नियुक्ति भी हुईं लेकिन यह सिर्फ कागजी खानापूर्ति को दर्शाती है। इस समुदायिक शौचालय का निर्माण सिर्फ श्रद्धालुओं के लिए ही कराया गया है क्योंकि यहां आस-पास कोई भी ग्रामीण बस्ती नहीं है मंदिर गांव से काफी दूर बना हुआ है। इस मन्दिर पर साल में दो बार लगने वाले नवरात्रि मेले में आने वाले दर्शनार्थियों को सामुदायिक शौचालय सुविधा कागजों पर दर्शाई जा रही है। बाहर से आये श्रद्धालुओं को खुले में शौच के लिए जाना पड़ रहा है।
मेले में बाहर से आए दुकानदारों व दर्शनार्थियों ने बताया कि अभी तक इस शौचालय का ताला ही नही खुला है। शिकोहाबाद से आई कविता अपनी बेटी को खुले में शौच कराती दिखी जब टंकी की ओर गई तो वहां पानी नहीं था सारी टोलियां सूखी पड़ीं थीं। आगरा से आये तमाम श्रद्धालु भी इस बात को लेकर नाराज दिखे। खुद प्यास से व्याकुल एक बच्चा अपने किसी परिजन के लिए प्लास्टिक की थैली लेकर टंकी से पानी लेने पहुंचा किसी भी टोंटी से एक बूंद भी पानी न मिलने पर वह प्यासा हलक मायूस होकर चला गया।
क्षेत्रीय लोगों का कहना है कि टंकी निर्माण में भी घपला किया गया और उसमें पीने का पानी भी कभी नहीं देखा गया है। नवरात्रि मेले में ड्यूटी कर रही महिला पुलिसकर्मियों ने सामुदायिक शौचालय के बंद होने पर खासी नाराजगी जाहिर की।