फोटो:नीमल हस्बेंडरी विभाग द्वारा आयाजित कार्यशाला में बोलते कुलपति प्रो0 प्रभात कुमार सिंह इटावा।सैफई उत्तर प्रदेश आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय, सैफई के एनीमल हस्बेंडरी विभाग द्वारा आयोजित बेसिक रिसर्च टेक्निक्स एण्ड प्रैक्टिसेज ऑफ लेबोरेटरी एनिमल केयर पर आधारित एकदिवसीय कार्यशाला का उद्घाटन विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो0 (डा0) प्रभात कुमार सिंह ने किया। इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि डा0 डी0 एस0 उपाध्याय, पूर्व प्रोफेसर एवं विभागाध्यक्ष, नेशनल लेबोरेट्री एनीमल सेंटर, सीडीआरआई, लखनऊ के अलावा विश्वविद्यालय के प्रतिकुलपति डा0 रमाकान्त यादव, चिकित्सा अधीक्षक डा0 एसपी सिंह, मुख्य एडवाइजर डा0 अनिल कुमार, आर्गेनाइजिंग सेक्रेटरी डा0 अमिता सिंह, कोआर्डिनेटर डा0 योगेश चन्द्र यादव, एडवाइजर केबी अग्रवाल, डा0 स्नेहाशीश भूनिया एवं सदस्य आर्गेनाइजिंग कमिटी तथा, फैकेल्टी मेम्बरस, चिकित्सा अधिकारी एवं पीजी स्टूडेन्ट्स उपस्थित रहे। कार्यक्रम में बाहर से आये मुख्य वक्ता डा0 विजय पाल सिंह, असिस्टेंट प्रोफेसर, ऐकेडमी ऑफ साइन्टिफिक एण्ड इनोवेटिव रिसर्च, आईजीआईबी, नई दिल्ली, डा0 पी0 नागाराजन, साइंटिस्ट एण्ड वेटेरिनेरियन, एक्सपेरीमेन्टल एनीमल फेसिलिटी, नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इम्युनोलॉजी, नई दिल्ली ने विभिन्न विषयों पर व्याख्यान दिये।
फोटो: कुलपति प्रो0 प्रभात कुमार सिंह को प्रतीक चिन्ह देती आर्गेनाइजिंग सेक्रेटरी डा0 अमिता सिंह इस अवसर पर बोलते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो0 (डा0) प्रभात कुमार सिंह ने कहा कि विश्वविद्यालय में कार्यरत् एनीमल हस्बेंडरी विभाग वर्तमान में सभी जरूरी सुविधाओं से सम्पन्न एक बेहतरीन विभाग है। विभाग द्वारा समय-समय पर एनीमल एथिक्स तथा अन्य जरूरी मुद्दों पर कार्यशाला एवं सेमिनार का आयोजन किया जाता रहा है। इसके अलावा विभाग पूरी तरह इस्टीट्यूशनल एनीमल एथिक्स कमेटी (आईएईसी) के मापदंडो का कडाई से अनुपालन भी करता है।
आर्गेनाइजिंग सेक्रेटरी एवं एनीमल हस्बेंडरी विभाग की वेटेरिनरी ऑफिसर डा0 अमिता सिंह ने बताया कि बेसिक रिसर्च टेक्निक्स एण्ड प्रैक्टिसेज ऑफ लेबोरेटरी एनिमल केयर पर आधारित इस कार्यशाला में लैब एनीमल्स के रख-रखाव एवं उन पर होने वाली रिसर्च से सम्बन्धित व्यापक जानकारी विशेषज्ञों द्वारा दी गयी। मुख्य रूप से लैब एनीमल्स एवं उन पर होने वाली रिसर्च की जानकारी देने के लिए विभिन्न टॉपिक्स पर व्याख्यान दिये गये। जिसमें पशुओं के रखरखाव के मुद्दों को केन्द्र में रखकर व्यापक चर्चा भी की गयी।