सड़क दुर्घटना में घायल एवं बेहोश व्यक्ति को बचाने के लिए सीपीआर तकनीकी अपनाएं – डॉ अंजनी बाजपेई
ए के सिंह संवाददाता
औरैया,सड़क दुर्घटना में घायल एवं बेहोश व्यक्ति को बचाने के लिए 108 नंबर डायल करें लेकिन तब तक मरीज को सड़क के किनारे लिटा कर उसके सांस लेने की प्रक्रिया व गर्दन की नाड़ी को चेक करें । यदि सांस नहीं मिल रही है या उसके गर्दन की नाड़ी नहीं धड़क रही है तो तुरंत सीपीआर नाम की प्रक्रिया को अपनाएं जिसके तहत व्यक्ति के सीने पर वक्ष के बीचो बीच अपने हाथों को वी आकार देकर 1 मिनट में 5 सेंटीमीटर गहराई तक लगभग 100 स्पंदन कराएं । यदि संभव हो तो माउथ टू माउथ अपनी वायु देकर सांस द्वार को खोलने का प्रयास करें । इसके लिए जॉ थ्रस्ट मैनेउर की प्रक्रिया अपनाएं जिसमें आप चेहरे की सबसे निचली व चलायमान हड्डी को अपनी तीन उंगलियों से दबाकर सांस द्वार को खोलने का प्रयास करें और उसके बाद वही सीपीआर प्रक्रिया को अपनाएं जिसके तहत 1 मिनट में लगभग100 स्पंदन किए जाने आवश्यक हैं ।
हम सब का हर संभव प्रयास हो कि व्यक्ति का जीवन बचाया जाए यह बात अपोलो मेडिक्स हॉस्पिटल लखनऊ की सीनियर नर्सिंग ऑफिसर (आईसीयू) विद्यालय की पूर्व छात्रा डॉ० अंजनी बाजपेई ने स्वामी विवेकानन्द इण्टर कालेज सहार में उपस्थित छात्र-छात्राओं के बीच कही ।
इसी विद्यालय से वर्ष 2015 में इंटर पास करने वाली डॉक्टरी अंजनी बाजपेई का शिक्षिका श्रीमती ममता शुक्ला ने माल्यार्पण कर स्वागत किया तत्पश्चात इसी विद्यालय से पढ़ाई करके पुनः इसी विद्यालय में गणित शिक्षक पद पर नियुक्त हुए शिक्षक मोहित सिंह का भी स्वागत किया गया । प्रधानाचार्य किशोर कुमार, भौतिकी प्रवक्ता रामेन्द्र सिंह कुशवाहा, हरेन्द्र यादव, दीप नारायण, विपुल कुमार, राजेश अवस्थी, सूरजपाल, गौरव पाण्डेय, मोहित सिंह, गौरव कुमार, मिथिलेश गुप्ता, अंकेश कुमार, प्रवीण अग्निहोत्री सहित सभी शिक्षकों ने पुष्प भेंट कर दोनों महान विभूतियां का स्वागत किया और उनके उज्जवल भविष्य की शुभकामनाएं दी ।