पंकज शाक्य
मैनपुरी- जिलाधिकारी महेन्द्र बहादुर सिंह ने बताया कि दैवीय आपदा से हुयी जनहानि, पशुहानि एवं घरेलू सामान, मकान क्षति के प्रकरणों में वित्तीय वर्ष 2020-21 में 58 लाख 44 हजार 100 एवं चालू वित्तीय वर्ष में 25 अगस्त तक 72 लाख 32 हजार 100 रू. की अनुदान राशि पीड़ित परिवार, आश्रितों को वितरित की जा चुकी है। उन्होने बताया कि वर्ष 2020-21 में दैवीय आपदा में मृतक 11 व्यक्तियों के आश्रितों को रू. 44 लाख, मकान, घरेलू सामान की क्षति के 15 प्रकरण के पीड़ितों को रू. 03 लाख 44 हजार, 59 पशु हानि के प्रकरण में पीड़ितों को 13 लाख 33 हजार 100 की धनराशि उपलब्ध करायी गयी जबकि चालू वित्तीय वर्ष में 25 अगस्त तक 17 मृतक व्यक्तियों के आश्रितों को रू. 68 लाख, मकान, घरेलू सामान की क्षति के 25 प्रकरण के पीड़ितों को रू. 01 लाख 07 हजार, 19 पशु हानि के प्रकरण में पीड़ितों को 88 हजार 100 की धनराशि मुहैया करायी गयी।
श्री सिंह ने बताया कि राज आपदा मोचक निधि के तहत सूखा, बाढ़, ओलावृष्टि, कोला-शीतलहर, आग, आंधी-तूफान, बे-मौसम भारी वर्षा, आकाशीय विद्युत, लू प्रकोप आदि से जनहानि की दशा में मृतकों के आश्रितो को 04 लाख रू. की अहैतुक सहायता प्रदान की जाती है। दैवीय आपदा के कारण कोई अंग, आंखों के बेकार हो जाने पर उस दशा में जब शारीरिक अक्षमता 40 प्रतिशत से 60 प्रतिशत के मध्य होने पर 59 हजार 100 रू. शारीरिक अक्षमता 60 प्रतिशत से अधिक होने की दशा में रू. 02 लाख प्रति व्यक्ति प्रदान की जा रही है, गंभीर चोट जिसके कारण अस्पताल में भर्ती होने पर 01 सप्ताह से अधिक भर्ती होने पर 12 हजार 700 रू., 01 सप्ताह से कम समय तक भर्ती होने पर 04 हजार 300 रू. राहत राशि अनुमन्य है। दुधारू, कृषि भार वाहक पशु यथा भैंस, गाय, ऊॅट, भैंसा आदि की क्षति होने पर 30 हजार रू. भेड़-बकरी, सुअर की क्षति होने पर 03 हजार रू., गैर दुधारू पशु ऊॅट, घोड़ा, बैल आदि पर 25 हजार रू., गाय, भैंस का बछड़ा, गधा, ट्टटू, खच्चर की दशा में 16 हजार रू., पक्का मकान झोंपड़ी के अतिरिक्त जहां कम से कम 15 प्रतिशत नुकसान हुआ हो की दशा में 5200 रू. प्रति मकान, कच्चा मकान होने की दशा में रू. 3200, झोंपड़ी नष्ट होने की दशा में 4100 रू. प्रति झोंपड़ी की दर से धनराशि अनुमन्य है।
जिलाधिकारी ने दैवीय आपदा लिपिक को निर्देशित करते हुये कहा कि दैवीय आपदा से पीड़ित व्यक्तियों, उनके परिजनों को तत्काल समस्त औपचारिकताएं पूर्ण कराकर लाभान्वित कराया जाये, देवीय आपदा,विद्युत फाल्ट के कारण हुए फसलो के नुकसान, मृतक पशुओ के प्रकरणों पर तत्काल रिपोर्ट उपलब्ध करायी जाये और पीड़ितों को प्राथमिकता पर राहत राशि मुहैया करायी जाये,संबंधित विभाग आपस में समन्वय स्थापित कर तत्काल कार्यवाही करे