भरथना।आर्य समाज मन्दिर भरथना में 99 वे भव्य वार्षिकोत्सव महायज्ञ एवम वेदकथा की अमृतवर्षा के अंतिम दिवस रविवार को 11 कुण्डीय पर्यावरण शुद्धि एवम रोग-शोक निवारणार्थ यज का कार्यक्रम पूर्ण आहुति के साथ सम्पन्न हुआ। समापन समारोह के दौरान सहयोगियों को सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम के दौरान आचार्य आनन्द पुरुषार्थी ने मानव जीवन के लिए यज्ञ कितना आवश्यक है,यज्ञ की क्या महिमा है इस विषय पर उपदेश दिया
उन्होंने बताया मनुष्य प्रातःकालीन बेला से लेकर रात्रि कालीन सोते समय तक अन्य अन्य प्रकार से इस भूमि और वातावरण को प्रदूषित करता है जोकि पाप कर्म है,इस पाप से बचने का उपाय केवल एक मात्र यज्ञ ही है जिससे हम पर्यावरण को स्वच्छ बना सकते हे और पुण्य प्राप्त कर सकते हैं।
समापन कार्यक्रम के दौरान आचार्य व समिति पदाधिकारियो ने पूर्व चैयरमेन मनोज पोरवाल आदि सहयोगियों को पट्टिका आदि भेंट कर सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम में प्रधान मूलचन्द्र आर्य,मंत्री मोहन आर्य,कोषाध्यक्ष ओमप्रकाश आर्य, राजकमल गुप्ता राजू,रामलखन यादव,सत्यभान गुप्ता(राजा),सतेन्द्र आर्य,अरुण आर्य,सत्यदेव गुप्ता,भगवान दास आर्य,देवेन्द्र भंशाली,आनन्द गुप्ता,अनुराग गुप्ता ,नन्दकिशोर गुप्ता(नन्दी) सहित आर्यवीर दल व आर्य समाज मंदिर के पदाधिकारी व सदस्य मौजूद रहे।