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जुलाई-सितंबर तक मानसून के कारण मिल सकती है राहत, ला नीना के विकसित होने की संभावना

विश्व मौसम विज्ञान संगठन (डब्ल्यूएमओ) ने भविष्यवाणी की है कि अल नीनो साल के अंत तक ला नीना में परिवर्तित हो सकती है। अल नीनो के कारण दुनिया भर में रिकॉर्ड तोड़ गर्मी और बढ़ता तापमान दर्ज किया गया है। दुनिया भर में अप्रैल सबसे गर्म और लगातार ग्यारहवां उच्च तापमान महीना महसूस किया गया है। संगठन के अनुसार, पिछले 13 महीनों से समुद्र की सतह का तापमान रिकॉर्ड उच्च स्तर पर रहा है।

अप्रैल-मई में दक्षिण एशिया में गर्मी
मौसम संगठन का कहना है कि प्राकृतिक रूप से होने वाले अल नीनो से मध्य और पूर्वी प्रशांत महासागर में पानी असामान्य रूप से गर्म हो रहा है। भारत और पाकिस्तान सहित दक्षिण एशिया के लाखों लोगों ने अप्रैल और मई में भीषण गर्मी की तपिश झेली। जुलाई से सितंबर के दौरान ला नीना की स्थिति की संभावना 60 प्रतिशत और अगस्त से नवंबर के दौरान 70 प्रतिशत तक बढ़ सकती है। इस दौरान अल नीनो के फिर से विसकित होने की संभावना न के बराबर है। अल नीनो के कारण भारत में कमजोर मानसूनी हवाएं रहती हैं। ला नीना अल नीनो के उलट है। ला नीना मानसून के दौरान भरपूर बारिश की ओर ले जाता है।

पिछले माह, भारत मौसम विज्ञान विभाग ने भारत में मानसून के मौसम में सामान्य से अधिक बारिश का अनुमान लगाया है। अगस्त-सितंबर तक अनुकूल ला नीना की स्थिति बनने की उम्मीद जताई थी। भारत के खेती-किसानी के लिए मानसून महत्वपूर्ण है। मानसून बिजली उत्पादन के साथ-साथ पीने के पानी के लिए महत्वपूर्ण जलाश्यों को फिर से भरने के लिए भी महत्वपूर्ण है।

क्या होता है ला नीना और अल नीनो
मौसम विभाग के दीर्घकालिक पूर्वानुमान में इस साल देश के 80 प्रतिशत हिस्सों में जून से लेकर 30 सितंबर तक सामान्य से अधिक यानी कि 106 प्रतिशत वर्षा होने का अनुमान लगाया गया है। सामान्यतः इस 80 प्रतिशत हिस्से में भी कहीं कम तो कहीं अधिक वर्षा हो सकती है। वैज्ञानिकों के अनुसार प्रशांत महासागर में दक्षिण अमेरिका के निकट यदि विषुवत रेखा के इर्द-गिर्द समुद्र की सतह अचानक गरम होनी शुरू हो जाए तो ‘‘अल नीनो’’ बनता है।

यदि तापमान में यह बढ़ोतरी 0.5 डिग्री से 2.5 डिग्री के बीच हो तो यह मानसून को प्रभावित कर सकती है। इसका असर यह होता कि विषुवत रेखा के इर्द-गिर्द चलने वाली ट्रेड विंड कमजोर पड़ने लगती हैं। यही हवाएं मानसूनी हवाएं हैं जो भारत में बारिश करती हैं। ऐसी स्थिति में अल नीनो के ठीक विपरीत घटना होती है जिसे ‘‘ला नीना’’ कहा जाता है। ’’ला नीना’’ बनने से हवा के दबाव में तेजी आती है और ट्रेड विंड को रफ्तार मिलती है, जो भारतीय मानसून पर व्यापक प्रभाव डालती है।

पाकिस्तान कोर्ट ने इमरान खान को किया बरी, 2022 में विरोध मार्च के दौरान दो मामले हुए थे दर्ज

पाकिस्तान की एक अदालत ने सोमवार को जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और उनकी पार्टी के अन्य नेताओं को बरी कर दिया है। इमरान खान और पार्टी के अन्य नेताओं के खिलाफ वर्ष 2022 में विरोध मार्च के दौरान तोड़फोड़ के मामले दर्ज किए गए थे।71 वर्षीय पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी के संस्थापक को अप्रैल 2022 में पद से हटाया गया था। पद से हटाए जाने के बाद से संस्थापक पर आरोप लगाए गए और 200 मामलों में से कुछ में दोषी पाए जाने के बाद वह पिछले साल अगस्त से जेल में बंद हैं।

एक्सप्रेस ट्रिब्यून अखबार की रिपोर्ट के अनुसार, इस्लामाबाद की जिला और सत्र अदालत ने ‘हकीकी आजादी’ मार्च के दौरान तोड़फोड़ के दो मामलों में इमरान खान, पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी, पूर्व संचार मंत्री मुराद सईद और अन्य पीटीआई नेताओं को बरी कर दिया पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) पार्टी के 71 वर्षीय संस्थापक पिछले साल अगस्त से जेल में हैं। उन्हें अप्रैल 2022 में सत्ता से बेदखल किए जाने के बाद उन पर लगाए गए, लगभग 200 मामलों में से कुछ में दोषी ठहराए जाने के बाद जेल में डाल दिया गया था।

मई 2022 में, पूर्व क्रिकेटर से नेता बने इमरान खान ने लाहौर से इस्लामाबाद की तरफ जुलूस निकाला था, जिसका उद्देश्य शेहबाज शरीफ की गठबंधन सरकार को गिराना था। यह सरकार तब सत्ता में आई थी, जब इमरान खान को अविश्वास मत के बाद प्रधानमंत्री पद से हटा दिया गया था। यह रैली “वास्तविक स्वतंत्रता” प्राप्त करने और राष्ट्र को “अमेरिका समर्थित” गठबंधन सरकार की “गुलामी” से मुक्त कराने के लिए पीटीआई के संघर्ष का हिस्सा थी। खान ने गठबंधन सरकार पर “अमेरिका समर्थित साजिश” के माध्यम से सत्ता में आने का आरोप लगाया था। उस समय इस्लामाबाद पुलिस ने संघीय राजधानी में आगजनी और तोड़फोड़ के आरोपों पर खान, कुरैशी और पार्टी के अन्य नेताओं सहित 150 लोगों के खिलाफ अलग-अलग मामले दर्ज किए थे।

इस महीने की शुरुआत में, इस्लामाबाद के एक न्यायिक मजिस्ट्रेट ने भी खान को 2022 में उनकी पार्टी के दो लंबे मार्च के दौरान तोड़फोड़ के दो मामलों में बरी कर दिया था। न्यायिक मजिस्ट्रेट शाइस्ता कुंडी ने इस्लामाबाद के लोही भैर और सहला पुलिस स्टेशनों में दर्ज मामलों और अदालत में उनकी पेशी से संबंधित एक मामले में पूर्व प्रधानमंत्री द्वारा दायर याचिकाओं पर सुनवाई की।

जयराम रमेश ने अमित शाह के खिलाफ लगाए आरोपों पर सबूत देने के लिए मांगा एक हफ्ता, आयोग ने ठुकराई याचिका

 नई दिल्ली:  चुनाव आयोग ने कांग्रेस नेता जयराम रमेश की उस याचिका को खारिज कर दी, जिसमें उन्होंने सबूत देने के लिए एक सप्ताह का समय मांगा था। दरअसल, जयराम रमेश ने आरोप लगाया था कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह लोकसभा चुनाव के मतदान समाप्त होने के बाद 150 जिलाधिकारियों को फोन किया था। चुनाव आयोग ने रमेश से तथ्यात्मक जानकारी और विवरण मांगा था। कांग्रेस नेता को आयोग ने सोमवार शाम सात बजे तक जवाब देने के लिए कहा है। इससे पहले दिन मुख्य राजीव कुमार ने जयराम रमेश के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अफवाहें फैलाना और हर किसी पर शक करना सही नहीं है।

जयराम रमेश ने कही थी ये बात
कांग्रेस महासचिव रमेश को लिखे पत्र में चुनाव आयोग ने कहा कि मतों की गिनती की प्रक्रिया प्रत्येक आरओ पर डाला गया एक पवित्र कर्तव्य है। एक वरिष्ठ, जिम्मेदार और अनुभवी नेता द्वारा इस तरह के सार्वजनिक बयान संदेह पैदा करते हैं।मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, किसी भी डीएम ने अनुचित प्रभाव की सूचना नहीं दी है। आयोग ने जयराम रमेश से 150 डीएम का विवरण और जानकारी मांगी है, जिन्हें अमित शाह ने प्रभावित किया है।

रमेश ने लगाए थे यह आरोप
शनिवार को जयराम रमेश ने आरोप लगाया था कि गृह मंत्री अमित शाह डीएम/कलेक्टरों को फोन कर रहे हैं। उन्होंने इसे भाजपा की हताशा कहा था। उन्होंने कहा कि अधिकारियों को धमकी के दबाव में नहीं आना चाहिए। अब तक उन्होंने 150 लोगों से बात की है। चार जून को पीएम मोदी, अमित शाह और भाजपा सत्ता से बाहर हो जाएगी और इंडी गठबंधन विजयी होगा। अधिकारियों को किसी भी दबाव में नहीं आना चाहिए और संविधान को बनाए रखना चाहिए।

मनीष सिसोदिया ने खटखटाया सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा, हाईकोर्ट के फैसले को दी चुनौती

नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी (आप) नेता मनीष सिसोदिया ने शराब नीति घोटाला के संबंध में दिल्ली उच्च न्यायालय के फैसले को चुनौती देने के लिए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया। सिसोदिया ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) और सीबीआई द्वारा दर्ज मामलों में अपनी जमानत याचिका खारिज करने के हाई कोर्ट के फैसले को चुनौती दी है। जस्टिस अरविंद कुमार और संदीप मेहता की पीठ मंगलवार को सिसोदिया की याचिकाओं पर सुनवाई करने वाली है।

हाई कोर्ट ने 21 मई को शराब घोटाले के संबंध में ईडी और सीबीआई द्वारा दर्ज अलग अलग मामलों में उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया था। कोर्ट ने कहा कि यह मामला उनके (सिसोदिया) द्वारा सत्ता के दुरुपयोग और जनता के विश्वास के उल्लंघन से जुड़ा है। उन्होंने कहा, “सिसोदिया का आचरण लोकतांत्रिक सिद्धांतों के साथ बड़ा विश्वासघात है।”

हाई कोर्ट ने कहा कि सिसोदिया दिल्ली सरकार में एक बहुत ही शक्तिशाली व्यक्ति थे। उनके पास 18 विभाग थे, जिसमें आबकारी विभाग भी शामिल था। उन्हें दिल्ली में नई आबकारी नीति बनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। पिछले साल 26 फरवरी को शराब घोटाले में शामिल होने के आरोप में सिसोदिया को सीबीआई ने गिरफ्तार किया था। इसके बाद सीबीआई की तरफ से दर्ज एफआईआर के बाद नौ मार्च 2023 को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ईडी ने उन्हें गिरफ्तार किया। सिसोदिया ने 28 फरवरी 2023 में दिल्ली कैबिनेट इस्तीफा दे दिया था।

सिसोदिया के लिए जमानत की मांग करते हुए उनके वकील ने उच्च न्यायालय के समक्ष कहा था कि ईडी और सीबीआई अभी भी मनी लॉन्ड्रिंग मामले में लोगों को गिरफ्तार कर रही है। उन्होंने आगे कहा कि इसके जल्द समापन का कोई समाधान नहीं है।

क्या थी दिल्ली की नई शराब नीति
17 नवंबर 2021 को दिल्ली सरकार ने राज्य में नई शराब नीति लागू की। इसके तहत राजधानी में 32 जोन बनाए गए और हर जोन में ज्यादा से ज्यादा 27 दुकानें खुलनी थीं। इस तरह से कुल मिलाकर 849 दुकानें खुलनी थीं। नई शराब नीति में दिल्ली की सभी शराब की दुकानों को प्राइवेट कर दिया गया। इसके पहले दिल्ली में शराब की 60 प्रतिशत दुकानें सरकारी और 40 प्रतिशत प्राइवेट थीं। नई नीति लागू होने के बाद 100 प्रतिशत प्राइवेट हो गईं। सरकार ने तर्क दिया था कि इससे 3,500 करोड़ रुपये का फायदा होगा।

सरकार ने लाइसेंस की फीस भी कई गुना बढ़ा दी। जिस एल-1 लाइसेंस के लिए पहले ठेकेदारों को 25 लाख देना पड़ता था, नई शराब नीति लागू होने के बाद उसके लिए ठेकेदारों को पांच करोड़ रुपये चुकाने पड़े। इसी तरह अन्य कैटेगिरी में भी लाइसेंस की फीस में काफी बढ़ोतरी हुई।

आगरा दिल्ली हाईवे पर सुबह-सुबह भीषण हादसा, पिता और दो बच्चों की मौत; पत्नी की हालत गंभीर

आगरा:  आगरा में दिल्ली हाईवे पर सुबह-सुबह भीषण हादसे में पिता के साथ बेटा और बेटी की जान चली गई, जबकि पत्नी और दो बच्चे गंभीर रूप से घायल हैं। घायलों को उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

थाना सिकंदरा के आगरा दिल्ली हाईवे अरसेना कट पर ट्रैक्टर से ऑटो की भिड़ंत हो गई। हादसे में ऑटो पूरी तरह छतिग्रस्त हो गया। पिता सहित एक बेटा और बेटी की मौके पर मौत हो गई। वहीं पत्नी और दो बच्चे गंभीर रूप से घायल हो गए। सूचना पर पहुंची पुलिस ने घायलों को उपचार के लिए एसएन मेडिकल कॉलेज भेज दिया है। इसके साथ ही मृतकों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है।

बताया गया है कि दिल्ली निवासी निलेश कुमार पाल निवासी लक्ष्मी पार्क दिल्ली अपने परिवार के साथ अपनी ससुराल मैनपुरी जा रहा था। सुबह करीब 4:30 बजे हाईवे पर अरसेना के समीप ट्रैक्टर कट से टर्न हो रहा था, तभी सामने से आकर ऑटो ट्रैक्टर ट्रॉली में घुस गया। हादसे के बाद हाईवे पर चीख पुकार मच गई। राहगीर और पुलिस की मदद से घायलों को उपचार के लिए भेजा गया।

‘देश नकारात्मक ताकतों से आजाद होने जा रहा है’, लोकसभा चुनाव परिणाम पर बोले अखिलेश यादव

लखनऊ:  सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने लोकसभा चुनाव 2024 के चुनाव परिणाम घोषित होने से एक दिन पहले मीडिया को संबोधित करते हुए दावा किया कि 4 जून को देश नकारात्मक शक्तियों से आजाद होने जा रहा है। इस दौरान उन्होंने मोदी सरकार के 10 साल के कार्यकाल पर बयान दिया। मुद्दों के सहारे मोदी सरकार के कार्यकाल पर सवाल उठाए।

अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा के झूठे राष्ट्रवाद ने देश को नुकसान पहुंचाया। सामाजिक रूप से देश का सौहार्द्र बिगाड़ा। भाईचारा खत्म किया। जाति के खिलाफ जाति और संप्रदाय के खिलाफ संप्रदायों को लड़वाया। संविधान द्वारा दिए गए आरक्षण को साजिशन खत्म करने की कोशिश की गई। बेरोजगारों से छल किया। पेपर लीक कराए। देश के लिए आगे बढ़कर लड़ने वालों के लिए अपने मंत्रियों से जानबूझकर अपशब्द कहलवाए। मणिपुर, हाथरस, महिला पहलवान, पिछड़े, दलित, अल्पसंख्यक और आदिवासियों के खिलाफ अत्याचार और सबसे खराब व्यवहार किए जाने का रिकॉर्ड बनाया।

भाजपा ने आर्थिक रूप से इलेक्टोरल बॉन्ड का ऐतिहासिक भ्रष्टाचार किया। इसके जरिए पैसा कमाने के लिए मुनाफाखोरी को बढ़ावा दिया जिसने महंगाई को बढ़ाया। अपने फायदे के लिए भाजपा ने जनता पर महंगाई थोप दी। नोटबंदी से व्यापार चौपट कर दिया। भ्रष्ट जीएसटी से छोटे दुकानदार को मंदी का शिकार बना दिया। किसानों की जमीन हड़पनी चाही। काले कृषि कानून लाए। खाद की बोरी की चोरी की। लाभकारी मूल्य नहीं दिया। देश को अब तक की सबसे बड़ी बेरोजगारी में धकेल दिया। महंगाई से गरीब को और गरीब कर दिया। अमीरों के अरबों के लोन माफ कर दिए लेकिन किसानों का ऋण नहीं माफ किया। उन्हें आत्महत्या के लिए मजबूर कर दिया। ब्याज की दरें घटाकर मध्यमवर्ग की बचत को बेकार कर दिया।

बैंकों में तरह-तरह के चार्ज से लोगों का धन दीमक की तरह खा गए। बैंक लॉकरों के नाम पर जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लिया। नैतिक रूप से चंदे का पैसा तक खा गए। केयर के आगे पीएम के नाम का इस्तेमाल कर बाद में हिसाब देने से मना कर दिया। अपराधियों को शामिल करने उनके कृत्यों पर पर्दा डालने जैसे मणिपुर में अपने संघी साथियों द्वारा बेटियों के साथ अमानवीय व्यवहार में और बीएचयू में अभद्रता कांड में, खीरी किसान हत्याकांड में, हाथरस की बेटी के बलात्कार, हत्या व कानपुर देहात कांड में जहां मां-बेटी को झोपड़ी में जिंदा जलाकर मार डाला ऐसे अनगिनत उदाहरण भाजपा सरकार के हैं।

कर्नाटक विधान परिषद की छह सीटों के लिए मतदान, छह जून को जारी किए जाएंगे नतीजे

बंगलूरू: कर्नाटक में स्नातक और शिक्षक निर्वाचन क्षेत्रों से विधान परिषद की छह सीटों के लिए सोमवार को मतदान शुरू हो गया। मतदान सुबह आठ बजे शुरू हुआ और शाम चार बजे तक जारी रहेगा। इन छह सीट पर 78 उम्मीदवार मैदान में हैं। मतगणना छह जून को होगी। दरअसल, तीन सीटें स्नातक एमएलसी और तीन सीटें शिक्षक एमएलसी का कार्यकाल पूरा होने के बाद खाली हुई हैं।

कर्नाटक विधान परिषद की 75 सीट में से कांग्रेस 29 पर काबिज है। जिन छह सीट पर मतदान हो रहा है उनमें कर्नाटक उत्तर पूर्व स्नातक, कर्नाटक दक्षिण पश्चिम स्नातक, बंगलूरू स्नातक, कर्नाटक दक्षिण-पूर्व शिक्षक, कर्नाटक दक्षिण-पश्चिम शिक्षक और कर्नाटक दक्षिण शिक्षक सीट शामिल हैं।

किसका-किसका हुआ कार्यकाल पूरा
कर्नाटक नॉर्थ-ईस्ट ग्रेजुएट्स से डॉ. चंद्रशेखर बी पाटिल, कर्नाटक साउथ-वेस्ट ग्रेजुएट्स से अयानुरु मंजूनाथ, बंगलूरू ग्रेजुएट्स से ए देवेगौड़ा, कर्नाटक साउथ-ईस्ट टीचर्स से डॉ. वाईए नारायणस्वामी, कर्नाटक साउथ-वेस्ट टीचर्स के एसएल भोजे गौड़ा और कर्नाटक साउथ टीचर्स के मैरिथिब्बे गौड़ा 21 जून को सेवानिवृत्त हो रहे हैं।

विधान परिषद के छह सदस्यों की सेवानिवृत्ति के बाद ये सीट खाली हुई हैं। स्नातक निर्वाचन क्षेत्रों और शिक्षक निर्वाचन क्षेत्रों में क्रमशः 3.63 लाख और 70,260 मतदाता हैं। निर्वाचन आयोग ने शिक्षक निर्वाचन क्षेत्रों के लिए 170 और स्नातक निर्वाचन क्षेत्रों के लिए 461 मतदान केंद्र स्थापित किए गए हैं।

कांग्रेस ने इन लोगों को उतारा मैदान में
कांग्रेस ने दक्षिण शिक्षक निर्वाचन क्षेत्र से मरिथिब्बा गौड़ा, दक्षिण-पश्चिम शिक्षक सीट से के. के. मंजूनाथ, दक्षिण-पश्चिम स्नातक सीट से अयानुर मंजूनाथ, उत्तर-पूर्व स्नातक सीट से चंद्रशेखर पाटिल, बंगलूरू स्नातक सीट से रामोजी गौड़ा और दक्षिण-पूर्व शिक्षक सीट से डी टी श्रीनिवास को चुनाव मैदान में उतारा है।

भाजपा की ओर से यह प्रत्याशी
वहीं, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और उसकी सहयोगी जनता दल सेक्युलर (जेडीएस) विधान परिषद चुनाव एक साथ लड़ रहे हैं। भाजपा चार सीट पर तो जेडीएस दो सीट पर चुनाव लड़ रही है। भाजपा ने कर्नाटक उत्तर-पूर्व स्नातक सीट पर अमरनाथ पाटिल, कर्नाटक दक्षिण-पश्चिम स्नातक सीट पर डॉ. धनंजय सरजी, बंगलुरू स्नातक निर्वाचन सीट पर ए देवेगौड़ा और दक्षिण-पूर्व शिक्षक सीट पर वाई ए नारायणस्वामी को प्रत्याशी घोषित किया है।

सिक्किम में प्रेम सिंह तमांग को चुना गया विधायक दल का नेता; अरुणाचल में भी जल्द होगा फैसला

पूर्वोत्तर के दो राज्यों अरुणाचल प्रदेश और सिक्किम में विधानसभा चुनाव के नतीजे आ गए।सिक्किम में सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा (एसकेएम) ने भारी बहुमत के साथ जीत हसिल की। वहीं, अरुणाचल प्रदेश में एक बार फिर पेमा खांडू सरकार (भाजपा) की वापसी हुई। बता दें कि दोनों ही राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने अपनी-अपनी सीट से जीत हासिल की। सिक्किम में प्रेम सिंह तमांग ने एसकेएम का विधायक दल का नेता चुना गया। इसी के साथ अब वह जल्द ही मुख्यमंत्री पद की शपथ लेगें। अरुणाचल प्रदेश में भी अब जल्द फैसला होने वाला है।

सीएम आवास में रविवार को हुई चर्चा
रविवार की रात को सभी 31 नवनिर्वाचित विधायक सीएम के आधिकारिक आवास पर उपस्थित हुए। सीएम आवास में हुई बैठक में एसकेएम के प्रधान सचिव अरुण उप्रेती ने विधायक दल के नेता के रूप में तमांग के नाम का प्रस्ताव रखा। संघा विधायक सोनम लामा ने इस प्रस्ताव का समर्थन किया। तमांग को सर्वसम्मति से विधायक दल का नेता चुना गया।

पार्टी के नेताओं ने तमांग को चुनाव के लिए बधाई दी और उनके साथ मिलकर काम करने की शपथ ली। विधानसभा चुनाव में सिक्किम की 31 सीटों में एसकेएम ने 31 पर जीत हासिल की है. बता दें कि नतीजे रविवार को जारी किए गए थे। सिक्किम के अलावा अरुणाचल प्रदेश में भी विधानसभा चुनाव के नतीजे रविवार को घोषित किए गए। राज्य की 60 सीटों पर भाजपा ने 46 सीटों पर जीत हासिल की। इसके अलावा कांग्रेस को एक, एनपीपी को पांच और अन्य को आठ सीटों पर जीत मिलीं।

कैसे पहुंचे दार्जिलिंग? जानें वहां के पर्यटन स्थल और सफर का खर्च

पश्चिम बंगाल के उत्तर पश्चिमी खूबसूरत शहर दार्जिलिंग के सफर पर जाना बेहतर विचार हो सकता है। पहाड़ों की हरियाली और गर्मी में भी ठंडे वातावरण का लुत्फ उठाने के लिए दार्जिलिंग जा सकते हैं। शिमला मनाली की भीड़ से दूर दार्जिलिंग सुंदर पहाड़ी क्षेत्र, ठंडी हवाओं के बीच सुकून से छुट्टी बिताने का मौका देता है। यहां आप परिवार, दोस्तों या पार्टनर के साथ घूमने आ सकते हैं। वहीं अगर सोलो ट्रिप पर जाना चाहते हैं तो भी दार्जिलिंग सुरक्षित पर्यटन स्थलों की लिस्ट में शामिल हैं। आइए जानते हैं दार्जिलिंग कैसे पहुंचे? जानिए घूमने का खर्च, यहां के पर्यटन स्थल और दार्जिलिंग जाने का सबसे सही समय।

कैसे जाएं दार्जिलिंग

दार्जिलिंग जाने के लिए हवाई जहाज, ट्रेन और बस की सुविधा मौजूद है।हवाई मार्ग- दार्जिलिंग के सबसे करीब बागडोगरा एयरपोर्ट है, जो दार्जिलिंग से 88 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। लगभग साढ़े तीन घंटे की यात्रा के बाद दार्जिलिंग पहुंचा जा सकता है।

रेल मार्ग- अगर आप ट्रेन से दार्जिलिंग जा रहे हैं तो न्यू जलपाईगुड़ी सबसे पास का रेलवे स्टेशन है, जिसकी दूरी दार्जिलिंग से लगभग 88 किलोमीटर है।

सड़क मार्ग- बस से सफर कर रहे हैं तो दार्जिलिंग, मिरिक और कलिम्पोंग जाने के लिए आप तेनजिंग नोर्गे बस टर्मिनस, सिलीगुड़ी जा सकते हैं। दार्जिलिंग बस से जाने के लिए आपको सिलीगुड़ी पहुंचना होगा। सीट शेयरिंग बसों या जीप से लगभग तीन-चार घंटे में दार्जिलिंग पहुंचा जा सकता है।

दार्जिलिंग जाने का सबसे सही समय

दार्जिलिंग के खूबसूरत दृश्यों का आनंद उठाने के लिए सबसे अच्छा समय अप्रैल से जून महीने के बीच का होता है। जब देश के कई राज्यों में गर्मी होती है, तब दार्जिलिंग का तापमान 14 से 8 डिग्री सेल्सियस के बीच होता है। ठंडे मौसम का लुत्फ उठाना हो तो नवंबर-दिसंबर के मध्य यहां आ सकते हैं।

दार्जिलिंग घूमने का खर्च

यहां आपको लो बजट से लेकर हाई बजट तक होटल मिल जाएंगे, जहां ठहरने का खर्च एक हजार से 5000 हजार या उससे अधिक आ सकता है। वहीं दार्जिलिंग के लिए दिल्ली से हवाई जहाज का टिकट 6-10 हजार रुपये में मिल जाएगा। ट्रेन का किराया भी डेढ़-दो हजार रुपये होता है। दार्जिलिंग में घूमने के लिए टैक्सी, बस या जीप बुक कर सकते हैं। स्थानीय टूर के लिए कुल किराया 10 हजार तक आ सकता है। तीन से चार दिन के सफर के लिए परिवहन, होटल और खानपान मिलाकर लगभग 15 हजार रुपये प्रति व्यक्ति खर्च हो सकता है।

कितने दिन का बनाए टूर

अगर आप दार्जिलिंग ट्रिप पर जाना चाहते हैं तो यहां कम से कम तीन दिन का टूर प्लान करें। दार्जिलिंग में घूमने लायक कई पर्यटन स्थल हैं। तीन दिनों में आप दार्जिलिंग के हिल स्टेशन और अन्य पर्यटन स्थलों को आसानी से घूम सकते हैं। दार्जिलिंग के लिए रेलवे के टूरिज्म विभाग की ओर से भी टूर पैकेज हैं, जिसमें 4-5 दिन का समय चाहिए।

दार्जिलिंग के पर्यटन स्थल

दार्जिलिंग में मिरिक, पशुपति घूमने की बेहतरीन जगह है जो कि नेपाल के सीमा स्थल पर है। यहां से टाइगर हिल, बतासिया लूप और यिगा चोलंग बौद्ध मठ देखने जा सकते हैं। इसके लिए जीप बुक कर सकते हैं। तीस्ता नदी में रिवर राफ्टिंग कर सकते हैं। हिमालयन पर्वतारोहण संस्थान और प्राणी उद्यान, रोपवे, तेनजिंग रॉक, लेबोंग स्टेडियम पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र होते हैं।

फ्लोरल प्रिंट के आउटफिट हैं आजकल चलन में, खरीदने से पहले देखें इन अभिनेत्रियों के लुक्स

गर्मी के मौसम में ज्यादातर लोग अपने लुक को लेकर काफी चिंतित रहते हैं, क्योंकि ये ऐसा मौसम होता है, जिसमें अगर सही कपड़ों का चुनाव न किया जाए तो आपके कपड़े ही आपको परेशान कर सकते हैं। जिस तरह से हम सर्दी के मौसम में कुछ भी पहनकर अपना जलवा बिखेरते रहते हैं, वैसा गर्मी के मौसम में चाहकर भी नहीं कर सकते। गर्मी के मौसम में ऐसे कपड़ों को पहनना सही माना जाता है जो आरामदायक हो। इस मौसम में कपड़ों के फैब्रिक से लेकर उसके प्रिंट तक का खास ध्यान रखा जाता है।

ऐसे में अगर आप गर्मी के लिए खरीदारी करने का प्लान कर रही हैं तो अपने कलेक्शन में फ्लोरल प्रिंट के आउटफिट को शामिल जरूर करें। फ्लोरल प्रिंट के आउटफिट ज्यादातर हल्के रंग से ही बने होते हैं, जो इस मौसम के लिए परफेक्ट रहते हैं। इन्हें खरीदने के लिए आपको ज्यादा रुपये खर्च करने की जरूरत नहीं पड़ेगी, क्योंकि ये ज्यादा महंगे नहीं आते।

साड़ी

साड़ी तो हर महिला का पसंदीदा परिधान होती है। ऐसे में आप चाहें तो अपने लिए ऐसी फ्लोरल प्रिंट की साड़ी खरीदें। अगर फ्लोरल प्रिंट की साड़ी शिफॉन प्रिंट में है तो ये आपको काफी आराम पहुंचाएगी। शिफॉन का साड़ी काफी हल्की होती है। ऐसे में आप आराम से इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।

अनारकली सूट

अगर गर्मी के मौसम में कहीं कोई पार्टी अटैंड करनी है तो बिना देर किए इस तरह का फ्लोरल प्रिंट का अनारकली सूट अपने लिए तैयार कराएं। इस तरह का अनारकली सूट गर्मी में आपको अलग और खूबसूरत दिखने में मदद करेगा।

मैक्सी ड्रेस

बहुत सी लड़कियों को मैक्सी ड्रेस पहनना पसंद होता है। ऐसे में आप कियारा आडवाणी की जैसी खूबसूरत मैक्सी ड्रेस अपने कलेक्शन में शामिल कर सकती हैं। ये आपकी खूबसूरती में चार चांद लगाने का काम करेगी।

स्लिट ड्रेस

अगर शॉर्ट ड्रेसेस नहीं पसंद हैं तो आप इस तरह की फ्लोरल प्रिंट की स्लिट ड्रेस अपने कलेक्शन में शामिल कर सकती हैं। ये आपके लुक को ग्लैमरस दिखने में मदद करेगी। आप इसे पहनकर गर्मी में पारा और ज्यादा बढ़ा सकती हैं।

शॉर्ट ड्रेस

अगर कहीं घूमने जा रही हैं तो अपने कलेक्शन में ऐसी फ्लोरल प्रिंट की शॉर्ट ड्रेस जरूर कैरी करें। ये काफी आरामदायक होती है। साथ ही में अगर आप इस तरह की फ्लोरल प्रिंट की ड्रेस अपने लिए खरीदेंगी तो आपका लुक भी कूल दिखेगा।