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हेल्थ

बॉडी में एनर्जी व तंदुरुस्ती को बनाए रखने के लिए दिन में इतने गिलास पीना चाहिए पानी

मानव बॉडी का 70% भाग पानी से बना होता है बॉडी में पानी की कमी होने से कई तरह की बीमारियों के होने का खतरा रहता है अगर आप दिन की आरंभ में एक गिलास पानी का सेवन करते हैं तो पूरा दिन आपके बॉडी में एनर्जी  तंदुरुस्ती बनी रहती है खाली पेट पानी का सेवन करने से आपको स्वास्थ्य से जुड़ी कई समस्याओं से छुटकारा मिल सकता है

1- खाली पेट पानी पीने से कब्ज की समस्या से छुटकारा मिलता है  पाचन क्रिया भी दुरुस्त रहती है इसके अतिरिक्त बॉडी में ऊर्जा का संचार भी अच्छी तरीके से होता है

2- प्रतिदिन प्रातः काल खाली पेट पानी का सेवन करने से मेटाबॉलिज्म  इम्यून सिस्टम मजबूत हो जाते हैं अगर आपको कब्ज की समस्या रहती है तो प्रातः काल खाली पेट एक गिलास पानी का सेवन करें ऐसा करने से आपको आराम मिलेगा

3- भूख लगने की समस्या में भी खाली पेट पानी पीना लाभकारी साबित हो सकता है प्रातः काल खाली पेट पानी पीने से आंत में जमा गंदगी साफ हो जाती है  भूख लगने लगती हैइसके अतिरिक्त प्रातः काल खाली पेट पानी पीने से किडनी से जुड़ी समस्याएं भी दूर हो जाती हैं

4- बॉडी की इम्युनिटी क्षमता को मजबूत बनाने के लिए प्रतिदिन प्रातः काल खाली पेट एक गिलास पानी का सेवन करें ऐसा करने से बॉडी में फ्लूड का लेवल बैलेंस में रहता है जिससे इम्यून सिस्टम मजबूत हो जाता है खाली पेट पानी पीने से मेटाबॉलिज्म रेट एक्टिव रहता है  वजन करने में भी मदद मिलती है

क्या आप जानते हैं लाल मूली का सेवन करने से होने वाले ये अद्भुत फायदे

सर्दियों के सीजन में मूली आपको बहुत ही आसानी से मिल जाते हैं। मूली स्वाद के साथ-साथ सेहत के लिए भी काफी फायदेमंद होती है। हमारे देश में मूली की कई वैरायटीज उपलब्ध हैं।

अधिकतर लोग सफेद मूली का सेवन करते हैं, लेकिन क्या आपने कभी लाल मूली का सेवन किया है? अगर नहीं, तो लाल मूली के फायदों के बारे में जानकर इसका सेवन जरूर करेंगे। यह कई स्वास्थ्य लाभों के भरपूर होता है। आज हम इस लेख में आपको लाल मूली खाने के फायदों के बारे में विस्तार से बताएंगे।

1. मेटाबॉलिज्म में करे सुधार

लाल मूली जड़ वाली सब्जी होती है, जो न केवल आपके पाचन तंत्र के लिए अच्छी मानी जाती है, बल्कि यह एसिडिटी, मोटापा, गैस्ट्रिक समस्याओं और मतली को ठीक करने में भी मददगार हो सकती है। ऐसे में यह मेटाबॉलिज्म क्रिया का सुधार करने में असरदार है।

2. पोषक तत्वों से भरपूर

लाल मूली विटामिन ई, ए, सी, बी 6, और के से भरपूर होती है। साथ ही यह एंटीऑक्सिडेंट, फाइबर, जिंक, पोटेशियम, फॉस्फोरस, मैग्नीशियम, तांबा, कैल्शियम, आयरन और मैंगनीज से भरपूर मानी जाती है।

3. रेड ब्लड सेल्स के लिए फायदेमंद

लाल मूली का सेवन रेड ब्लड सेल्स के लिए काफी प्रभावी माना जाता है। यह लाल रक्त कोशिकाओं को नुकसान होने से बचाव करता है। नियमित रूप से लाल मूली का सेवन करने से रक्त में ऑक्सीजन की आपूर्ति भी बढ़ सकती है।

4. दिल को रखे हेल्दी

लाल मूली एंथोसायनिन का अच्छा स्त्रोत होता है, जो आपके हृदय स्वास्थ्य के लिए काफी अच्छा माना जाता है। इसके अलावा इसमें विटामिन सी, फोलिक एसिड और फ्लेवोनोइड की भी अधिकता होती है।

5. ब्लड प्रेशर को करे नियंत्रित

इसके सेवन से आपके शरीर को पोटेशियम मिलता है, जो ब्लड प्रेशर को कम करने में असरदार है। इसके अलावा यह रक्त के प्रवाह को नियंत्रित कर सकता है।

क्या कोविड वैक्सीन की दो खुराक ले चुके लोगों के लिए भी जरुरी हैं Booster Dose ? जानिए यहाँ

आज से ऐसे लोगों को बूस्‍टर शॉट लगाया जाएगा ज‍िन्‍होंने वैक्‍सीन की दोनों डोज ले ली है। फ‍िलहाल ये टीकाकारण 60 से अध‍िक आयु के ऐसे लोगों के ल‍िए है जो कोमार्बिडिटी कंडीशन्स से पीड़ित हैं इसके साथ ही हेल्‍थ केयर और फ्रंटलाइन वर्कर्स को भी बूस्‍टर शॉट लगाया जाएगा।

र‍िसर्च के आधार पर एक्‍सपर्ट बताते हैं क‍ि बूस्‍टर डोज एंटीबॉडी के लेवल को बढ़ा देती है। बूस्‍टर डोज लगने के बाद इम्‍यून‍िटी पहले से ज्‍यादा मजबूत हो जाएगी। इसका ये अर्थ नहीं है क‍ि आपको कोव‍िड का खतरा नहीं होगा पर कोव‍िड के नए वैर‍िएंट जैसे डेल्‍टा या ओमिक्रोन से बचाव के ल‍िए बूस्‍टर डोज जरूरी है। ओम‍िक्रोन के बढ़ते केसों ने को बढ़ा द‍िया है।

इस समय ऐसे हेल्‍थ केयर वर्कर या फ्रंटलाइन वर्कर को टीके लगाया जा रहा है ज‍िन्‍होंने कोव‍िड टीके की दोनों डोज ली है। ऐसे लोगों को प्रमाण पत्र द‍िखाकर बूस्‍टर शॉट लगाया जाएगा।

आपने ज‍िस टीके की दोनों डोज ली है उसी टीके की बूस्‍टर शॉट आपको लगाई जाएगी। जैसे मान ल‍ीज‍िए क‍ि आपने पहले कोवीशील्ड की दोनों डोज लगवाई है तो आपको कोवीशील्ड का ही बूस्‍टर शॉट लगाया जाएगा। डोज म‍िक्‍स करने के अनुमत‍ि स्‍वास्‍थ्‍य व‍िभाग ने नहीं दी है।

गंभीर बीमार‍ियों में कॉर्ड‍ियोवैस्‍कुलर ड‍िसीज, डायब‍िटीज, क‍िडनी ड‍िसीज, स्‍टेम सेल ट्रांसप्‍लांट रेस‍िप‍िएंट, कैंसर, स‍िकल सैल ड‍िसीज आद‍ि शाम‍िल हैं। बूस्‍टर डोज केवल 60 साल से अध‍िक आयु वाले बुजुर्गों को ही लगेगा।

आपकी आँखों की रौशनी को बढाने के साथ उन्हें खूबसूरत बनाएगा घी और बादाम का ये उपाए

बेहतरीन लुक पाने में आंखों की खूबसूरती अहम रोल निभाती है. आंखों को खूबसूरत बनाने के लिए लोग मार्केट में मिलने वाले तरह-तरह के प्रोडक्ट्स का इस्तेमाल करते हैं. इनसे आंखें कुछ समय के लिए खूबसूरत तो दिखती हैं, लेकिन इनमें मौजूद केमिकल उन्हें काफी नुकसान पहुंचाता है.

विशेषज्ञों के मुताबिक उन प्रोडक्ट्स के इस्तेमाल से बचना चाहिए, जिनमें केमिकल यूज किया गया हो.घर पर बनाए जाने वाले काजल की खासियत है कि इसके साइड इफेक्ट नहीं होते और ये लंबे समय तक आंखों पर टिका रहता है. इसे घर पर आसानी से बनाया जा सकता है. तो चलिए आपको बताते हैं कि कैसे घर पर घी और बादाम की मदद से काजल बनाया जा सकता है.

ऐसे बनाएं काजल

दो से तीन बादाम लें और उन्हें गैस पर सेकें. इसके बाद बादाम काली पड़ जाएगी, लेकिन उसमें से धुंआ निकलता रहेगा. इसी दौरान सुलगती बादाम को दीपक में रखें और ऊपर से एक छोटी प्लेट से उसे ढक दें.

सभी बादामों के साथ ऐसा करें. अब किसी हार्ड पेपर की मदद से प्लेट पर छाए कालेपन को छुड़ाएं और छोटे से बर्तन में बने पाउडर को जमा करें. इसके बाद इस पाउडर में थोड़ा सा घी मिलाएं. जब यह ठंडा हो जाए, तो आप घर पर बने काजल को लगा सकती हैं.

 

थायराइड की समस्या से ग्रसित लोगों में अक्सर दिखने लगते हैं ऐसे शुरूआती लक्ष्ण

आज के जमाने में महिलाओं में थायराइड की समस्या काफी तेजी से बढती जा रही है। आज का खराब लाइफस्टाइल और गलत खानपान के कारण ये समस्यायें तेजी से शरीर में घर कर जाती है।

ऐसे में कई बार आपके गले का हिस्सा उभरा हुआ नजर आता है यदि इस डबल चिन को मोटापा समझ रहे हैं तो सावधान हो जाएं क्योंकि यह थायराइड का संकेत हो सकता है।  जिसे थायराइड की बीमारी भी कहा जाता है।

गले में ये लक्षण थायराइड का संकेत
थाइराइड कैंसर के मामले में गले का इंफेक्शन, पेट की समस्या या श्वसन नली में एलर्जी भी हो सकती है। गर्दन में गांठ, सूजन, बार-बार ड्राईनेस, आवाज भारी होना, खराश हो रही है जो दवा से भी ना जाएं तो थायराइड की जांच करवा लें।

कैसे करें बीमारी पर कंट्रोल?
यदि आपको इस बीमारी का पता समय पर चल जाए तो दवा के सहारे इसे कंट्रोल किया जा सकता है। वहीं इसके साथ जरूरी है कि सही लाइफस्टाइल, अच्छी नींद, स्वस्थ खान-पान बीमारी को कंट्रोल करने के लिए सबसे जरूरी है। इसके साथ ही आप कुछ घरेलू नुस्खे भी अजमा सकते हैं जैसे –

1.आयरन से भरपूर चीजें खाएं, जैसे बादाम, हरी पत्तेदार सब्जियां, दालें, पालक, अंजीर, चुकंदर आदि।
2. रोज नाश्ते में 1 गिलास लौकी का जूस पीएं से भी फायदा होगा।
3. हल्दी वाला दूध पीने से भी थायराइड कंट्रोल में रहता है।
4. प्याज को दो हिस्सों में काटकर गले के आस-पास क्‍लॉक वाइज मसाज करें और रातभर के लिए छोड़ दें। लगातार ऐसे करने से थायराइड कंट्रोल होगा।

अब बिना वर्कआउट और जिम के कम होगा आपका वजन, बस इन स्टेप्स का करें अनुसरण

क्या ऑफिस में रहकर काम करते हुए आपका वजन बढ़ रहा है? क्या आप अपने बढ़ते वजन के लिए ऑफिस में काम करने को दोषी ठहराती हैं तो हम आपके लिए लाएं ऐसे हेल्थ टिप्स जो आपके वजन को न सिर्फ कंट्रोल करेंगे बल्कि कम भी करेंगे। ये वर्कआउट के तरीके आपको ऑपिस में वजन कम करने में मददगार साबित होंगे।

अपने वजन को घटाने के लिए सीढ़ियों पर चढ़ने की कसरत को बेहतरीन कार्डियो कसरत में बदला जा सकता है. आप सीढ़ियों पर स्क्वैट्स जैसे विभिन्न व्यायाम कर सकते हैं या बस ऊपर और नीचे चढ़ सकते हैं. हालांकि, सीढ़ी चढ़ने के अभ्यास शुरू करने के साथ ही आप काफी तेजी से परिणाम देखेंगे और आउटपुट को ज्यादा बढ़ा सकेंगे.

सीढ़ी चढ़ने के अभ्यास में कसरत की स्पीड और समय के साथ कैलोरी की मात्रा काफी तेजी से बर्न की जा सकती है. अगर आप धीरे-धीरे चढ़ रहे हैं तो आप कम कैलोरी बर्न करेंगे, जबकि तेजी से चढ़ने पर आप तेजी से कैलोरी बर्न कर सकते हैं. सामान्य तौर पर, एक व्यक्ति 30 मिनट के लिए सीढ़ियों पर दौड़कर 500 कैलोरी बर्न कर सकता है.

स्किन का रूखापन और कमजोर इम्यून सिस्टम नहीं हैं किस आम बीमारी के लक्ष्ण

डायबीटीज एक ऐसी बीमारी है जो एक बार हो जाए तो पूरी तरह से ठीक नहीं हो सकती। लेकिन लाइफस्टाइल में बदलाव कर और ब्लड शुगर लेवल को कम कर आप इस बीमारी को कंट्रोल में जरूर रख सकते हैं।

वैसे तो ब्लड शुगर लेवल बिगड़ने पर व्यक्ति को स्वास्थ संबंधी कई समस्याएं हो सकती हैं लेकिन डायबीटीज के मरीज को यह सीधे अस्पताल पहुंचा सकता है।मानव शरीर में लगातार शुगर के बढ़ते इस्तेमाल के कारण इम्यून सिस्टम काफी कमजोर हो सकता है. इसके कारण मानव शरीर रोग से लड़ने की अपनी प्रतिरोधक क्षमता को खो सकता है. ऐसी स्थिती में सामान्य से भी मौसम बदलाव के कारण सर्दी-जुकाम का होना आम बात हो जाती है.

शरीर में शुगर का इस्तेमाल ब्लड शुगर लेबल को नियंत्रित करने के लिए होता. इसके शरीर में पहुंचते ही इन्सुलिन के बनने से शरीर में जलन काफी हद तक बढ़ जाती है. जिससे स्किन की रेडनेस बढ़ जाती है. ज्यादा शुगर का इस्तेमाल शरीर में मुंहासों की समस्या बढ़ा सकता है. शुगर के ज्यादा इस्तेमाल के कारण स्किन संबंधी ऐलर्जी और एग्जिमा की समस्या बढ़ जाती है.

शुगर की अधिकता के कारण डायबटीज, मोटापा और हाईपरटेंशन का खतरा काफी बढ़ जाता है. जिससे दिल की बिमारी का खतरा सबसे ज्यादा होता है. इन्सुलिन नहीं बनने के कारण ब्लड में मौजूद शूगर डायबटीज और कॉरनरी एथेरोसिलेरोसिस के कारण दिल की मांसपेशियों तक आक्सीजन की कमी हो जाती है. जिसके चलते दिल का दौरा पड़ना सामान्य बात हो जाती है.

 

कैंसर के खतरे को 90 प्रतिशत तक कम करता है रसोईघर में मौजूद ये मसाला

आपकी रसोईघर में मौजूद हल्दी कितनी फायदेमंद होती है, क्या आपने कभी इसका अंदाज भी लगाया है? हल्दी से इंफेक्शन और कैंसर भी पूरी तरह दूर हो सकता हैं. आइये जानते हैं हल्दी खाने से क्या-क्या फायदे होते हैं.

सूजन में देता है आराम- हल्दी में एंटी-इन्फ्लेमेशन प्रोपर्टीज मौजूद होती हैं जो कि आसानी से शरीर में आने वाली सूजन को कम कर देती हैं.

कैंसर के रिस्क को भी करता है कम- कई स्टडीज ये बता चुकी हैं कि हल्दी का सेवन कैंसर की शुरूआती स्टेज में बहुत ही ज्यादा प्रभावी होता है. यानि कैंसर की फर्स्ट स्टेज में भी हल्दी के सेवन से कैंसर को रोकने में बहुत मदद मिल सकती है.

डायजेशन को रखता है दुरुस्त- हल्दी के सेवन से डायजेशन भी बहुत अच्छा रहता है. ये डायजेस्टिव डिस्ऑर्डर को भी पूरी तरह ठीक करता है.

ब्रेन हेल्थ- हल्दी के पॉवरफुल हेल्थ बेनिफिट्स हैं. ये कई तरह के न्यूरोलॉजिकल डिस्ऑर्डर को भी ठीक कर सकता है. जैसे अल्जाइमर और डिमेंशिया.

हार्ट के लिए है अच्छा- हल्दी हार्ट हेल्थ को बहुत इंप्रूव करता है. ये बैड कॉलेस्ट्रॉल को कम करता है. इस हिसाब से इसके सेवन करने से आप को हार्ट प्रॉब्लम से भी पूरी तरह छुटकारा मिल सकता है.

इस डॉयफ्रूट का सेवन करना आपके स्वास्थ्य के लिए हैं लाभदायक, वेट लॉस में हैं मददगार

डॉयफ्रुइट्स भले ही महंगे मिलते हैं लेकिन रोजाना डॉयफ्रुइट्स का सेवन करना स्वास्थ्य के लिए बहुत जरुरी हैं. डॉयफ्रुइट्स में अखरोट सबसे ज्यादा फायदेमंद होता हैं क्युकी ये दिमाग को तेज करने के साथ साथ कई बीमारियां को दूर करता हैं.

अगर आप की त्वचा सफेद पड़ गई है तो रेग्लुर अपनी डाइट में शामिल करने से आपकी त्वचा पहले के जैसे हो जाएंगी। बढते वजन को घटाने में भी अखरोट बेहद मददगार है। जो लडकियां या लडके अपना वेट लॉस करना चाहते हैं उनको अखरोट का सेवन करना चाहिए।

अखरोट को पसंद करने वाले इसे डर से नहीं खाते हैं कि इसमें कैलोरी ज्यादा होती है और इससे उनका वजन बढ़ सकता है. लेकिन एक नए अध्ययन में यह बात सामने आई है कि अमेरिकी सरकार ने अखरोट में जितनी कैलोरी बताई हुई हैं उससे 21 प्रतिशत कम केलोरी होती हैं. प्रतिष्ठित ‘जनरल ऑफ न्यूट्रीशिन’ में प्रकाशित हुए इस अध्ययन में बताया गया है कि अमेरिका के कृषि विभाग (यूएसडीए) ने अखरोट में जितनी कैलोरी होने की बात कही है, असल में, अखरोट में उससे 21 फीसदी कम कैलोरी होती हैं.

अखरोट में मेलाटोनिन पाया जाता है जो नींद के लिए प्रेरित करता है। जिन लोगों को रात में ठीक से नींद न आती हो। उन्हें अच्छी नींद लाने में सहायक है। अखरोट में वसा रहती है लेकिन वह हैल्दी फैट होता है जो फाइबर और प्रोटीन का बेहतर स्त्रोत है।

परफैक्ट फिगर का सपना अब होगा पूरा बस डाइटिंग में शामिल करें ये सभी चीजें

आजकल हर युवक रितिक रोशन जैसा दिखना चाहता है और हर युवती करीना जैसी परफैक्ट फिगर पाना चाहती है और चाहे भी क्यों न भला, आखिर परफैक्ट बौडी पर ही तो हर पोशाक जचती है।

लेकिन आजकल हर कोई मोटापे से परेशान हैं। कुछ लोग पतले होने के लिए खूब डाइटिंग आदि करते हैं। जिसके कारण उनमें बहुत कमजोरी भी आ जाती है। लेकिन क्या आप जानते है कि भरपेट खाना खाकर भी आप अपना वजन बहुत आसानी से कम कर सकते हैं।

नींबू

नीबूं का संबंध तीखे फलों के परिवार से है. उसमें विटामिन सी भरपूर मात्रा में पाया जाता है. नींबू मेटाबोलिज्म तेज करने, इम्यूनिटी बढ़ाने और फैट को भी पिघलाता है. मोटापे के शिकार लोगों को रोजाना एक नींबू इस्तेमाल करना चाहिए. नींबू को सलाद या सालन पर निचोड़कर या नींबू पानी बनाकर सेवन किया जा सकता है.

ग्रेप फ्रूट

ग्रेप फ्रूट जैसे संतरा केमिकल गुणों के चलते मोटापे पर काबू पाने के लिए शानदार फल है. विटामिन सी से भरपूर उस फल से इंसुलिन की सतह संतुलित रहने में मदद मिलती है. जिसके नतीजे में शरीर के फैट जमने की प्रक्रिया में कमी आती है और शारीरिक वजन भी कम होता है.

सेब, नाशपाती

सेब और नाशपाती दोनों में पानी की मात्रा काफी अधिक होती है. छिलकों के साथ दोनों फलों को खाने से अतिरिक्त फाइबर मिलता है. ये पेट को ज्यादा देर तक भरा रखने में मदद पहुंचाता है. उनके जूस की बजाए फल को खाना शरीर में अतिरिक्त फैट को जमने नहीं देता है.