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हेल्थ

दिमागी सेहत और त्वचा के लिए जहर बन सकता हैं बादाम, यहाँ जानिए कैसे

रसोई में रोज इस्तेमाल होने वाली बहुत सारी खाने की चीजे और मसाले रखे रहते हैं। इन चीजों में कुछ चीजें ऐसी होती हैं जिनका ध्यान न रखें तो यह आपकी स्वास्थय के लिए खतरा पैदा कर सकती हैं। अगली स्लाइ्ड में जानें रसोई में रखी कौन सी चीजें हैं जो आपकी सेहत को नुकसान पहुंचा सकती है….

1 आलू – घर में बाकी सब्जियों के साथ-साथ आलू हमेशा रखे होते हैं, लेकिन इन आलुओं के बीच कुछ ऐसे होते हैं, जो हल्का हरापन लिए होते हैं, और कुछ समय बाद इनमें से अंकुर निकलने लगते हैं। यह आलू आपकी सेहत को बुरी तरह बिगाड़ सकते हैं। यह तत्व आपको अतिसार से लेकर कोमा जैसी गंभीर बीमारी का मरीज बना सकता है। इतना ही नहीं यह मौत के लिए भी जिम्मेदार हो सकता है।

2 बादाम – वैसे तो बादाम दिमागी सेहत और त्वचा के लिए फायदेमंद होता है, लेकिन यदि घर में रखे बादाम के स्वाद में जरा भी कड़वापन है, तो यह आपके लिए हानिकारक साबित हो सकता है। दरअसल बादाम का स्वाद कड़वा होने का प्रमुख कारण उसमें हाइड्रोजन साइनाइड की उपस्थि‍ति है। हाइड्रोजन साइनाइड आपकी सेहत के लिए बेहद खतरनाक हो सकता है।

3 जायफल – रसोई घर में कभी स्वाद के लिए तो कभी दवा के तौर पर जायफल को रखा जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं, कि पुराने जायफल का सेवन आपके लिए तनाव का कारण बन सकता है। इतना ही नहीं इसका अत्यधि‍क सेवन हार्ट अटैक का कारण भी बन सकता है। कुछ शोधों में यह बात भी सामने आई है कि यह आपको मनोरोगी भी बना सकता है।

बढ़ती आयु के साथ शरीर के अंगों का रखे ख़ास ध्यान व खुद को रखे फिट

उम्र का बढ़ना एक स्वाभाविक प्रक्रिया है. बढ़ती आयु के साथ शरीर के अंगों का निर्बल होना, सफेद बाल और झुर्रियां आदि अधिक आयु के बदलावों को दिखाते हैं. ऐसे में खानपान का ध्यान रखें, शारीरिक गतिविधियां बढ़ाएं  खुश रहें.आइए जानते हैं बढ़ती आयु में फिट रहने के नुस्खाें के बारे में :-

समय पर लें डाइट:
कई बार अधिक बीमार रहने या ज्यादा दवाएं खाने से मुंह का स्वाद बदल जाता है और भूख कम हो जाती है. ऐसे में खाने के प्रति रुचि बनाएं रखें और समय से खाएं.

चिकनाईयुक्त चीजें सीमित मात्रा में लें :
कुछ लोगों को अधिक चिकनाईयुक्त, दूध या अन्य चीजें खाने से पेटदर्द, गैस या डायरिया आदि परेशानियां हो सकती है. ऐसे में इन चीजों को सीमित मात्रा में ही लें. खाने के साथ दही, छाछ आदि लें..

व्यायाम कर रहें फिट :
रोजाना योग, ध्यान, वॉक या व्यायाम जरूर करें. इससे मन खुश रहता है  आप फिट रहने के साथ रोगों से दूर रहते हैं.

इन बातों का रखें ध्यान
– लो-फैट वाली चीजें खाएं. मलाई हटाकर दूध पिएं.
– खाद्य पदार्थों को फ्राई करने की बजाय उसे बॉयल, रोस्ट, बेक या स्टीम करें.
– ओमेगा-थ्री फैटी एसिड्स, फाइबर, एंटीऑक्सीडेंट्स वाले पदार्थों की मात्रा बढ़ाएं.
– खुद को किसी रचनात्मक कार्य में व्यस्त रखें. किताबों और संगीत को अपना मित्र बनाएं.

हड्डियों को मजबूत बनाना चाहते हैं तो इन चीजों का जरुर करें सेवन

40 वर्ष पूरे होने के बाद मसल्स ढीली होने लगती हैं जबकि हड्डियां कमजोर। इस उम्र में ऑस्टियोपोरेसिस होने का खतरा बढ़ जाता है जिससे हल्की सी चोट से भी हड्डी टूटने का डर बना रहता है मगर आपको घबराने की जरूरत नहीं। आज हम आपको कुछ आसान से आसन बताएंगे जो 40 के बाद भी हड्डियों को कमजोर नहीं होने देते।

पनीर

अगर आपको दूध पसंद नहीं है तो आप दूसरे खाद्य पदार्थों से उसकी पूर्ति कर सकते हैं। आप सर्दियों में पनीर का सेवन कर सकते हैं। पनीर में भी भरपूर मात्रा में कैल्शियम होता है। पनीर का सेवन करने से शरीर में कैल्शियम के साथ प्रोटीन की भी कमी पूरी हो जाती है जो हड्डियों को मज़बूती देता है।

दही

अगर आप रोज़ाना दही को अपनी डाइट में शामिल करते हैं तो ये भी हड्डियों को प्रोटेक्ट करने का काम बखूबी करते हैं। आप चीनी की जगह इसमें जीरा पाउडर और नमक मिलाकर खा सकते हैं। एक कटोरी दही में 30 प्रतिशत कैल्शियम के साथ-साथ फास्फोरस, पोटेशियम, विटामिन बी2 और बी12 होता है, इसलिए यदि आपको दूध नहीं पसंद तो आप दही खा सकते हैं।

सोया

दूध या टोफू अगर आपको नॉर्मल दूध पीना बिल्कुल अच्छा नहीं लगता है तो आप सोया दूध या टोफू का सेवन कर सकते हैं। इनका स्वाद दूध के स्वाद से काफी अलग होता है पर इनमें कैल्शियम की प्रचुरता पाई जाती है।

आज शाम नाश्ते में घर पर बनाए मशरूम बर्गर्स, देखें इसकी रेसिपी

सामग्री

रोल्‍ड ओट्स- 1 कप
मशरूम- 340 ग्राम (मोटे टुकड़ों में कटे)
कैलिफोर्निया वॉलनट्स-1 कप
हरी प्‍याज के स्‍लाइसेस- 1/3 कप
सोया सॉस- 2 टेबलस्‍पून
कुटी हुई अदरक- ¾ टीस्‍पून
गार्लिक पाउडर- ½ टीस्‍पून
अनियन पाउडर- ½ टीस्‍पून
कालीमिर्च- ¼ टीस्‍पून
अंडे- 2
वेजिटेबल ऑयल- 2 टेबलस्‍पून
टेरियाकी सॉस- ¼ कप

विधि

1.फूड प्रसेसर में ओट्स दरदरा होने तक पीस लें। इसे अलग निकालकर रख दें। 2.अब फूड प्रोसेसर में मशरूम डालकर बारीक काट लें। फिर ओट्स के बाउल में मिलाएं।
3. फिर फूड प्रोसेसर में वॉलनट और हरी प्‍याज डालें और बारीक काट लें।
4. बाउल में सोया सॉस, सीजनिंग और अंडे डालें और ढककर 30 मिनट के लिए रेफ्रिजरेटर में रख दें।
5. हाथों को गीला करके मिश्रण से 6 पेटीस यानि टिक्कियां तैयार करें।
6. आंच में बड़े आकार की नॉनस्टिक पैन में तेल गर्म करें। इसमें पेटीस डालें और 3 से 5 मिनट तक दोनों तरफ से सेंक लें।
7. अब टेरियाकी सॉस को ब्रश की सहायता से लगाएं।
8. तवे पर मक्खन पिघलाकर बन्स को काटकर दोनों ओर से सेंक लें।
9. इसके एक पीस पर सभी सॉस लगाकर टिक्की रखें।
10. ऊपर से एवोकाडो, लाल प्‍याज, लेट्यूस औऱ अनानास के स्‍लाइसेस डालकर बन्स को बंद करके सर्व करें।

नताशा स्टेनकोविक से लेकर नेहा धूपिया तक इन एक्ट्रेस ने पब्लिक में ब्रेस्टफीडिंग को किया सपोर्ट

हाल ही मां बनने वाली एक्ट्रेस नतासा स्टेनकोविक ने वर्ल्ड ब्रेस्टफीडिंग वीक 2021 के अवसर पर नेहा धूपिया के साथ बातचीत में कई पहलुओं पर चर्चा की है.नताशा स्टेनकोविक का कहना है कि अपने बच्चे को ब्रेस्टफीडिंग कराने के दौरान शुरुआत में काफी कठिनाई का सामना करना पड़ा.

इसके साथ ही वह इसे अपने बच्चे के साथ बंधन का “सर्वश्रेष्ठ” तरीका भी बताती हैं. अपने बच्चे को छह महीने तक ब्रेस्टफीडिंग कराने वाली 29 वर्षीय मां ने भी ब्रेस्टफीडिंग को सामान्य बनाने पर जोर दिया.

भारत में लोगों को इसके बारे में ज्यादा से ज्यादा खुलकर बात करने की जरुरत है. उनके अनुसार यह किसी प्रकार से शर्मिंदा होने की बात नहीं है, क्योंकि आप अपने बच्चे को ब्रेस्टफीडिंग करा रहे हैं.

इस पर नेहा ने सहमति जताते हुए कहा कि हम इसी पर बात करना चाहते हैं और ब्रेस्टफीडिंग को सामान्य करने की बात करते हैं, वहीं अगर कोई मां ऐसा नहीं करना चाहती है तो क्या किया जा सकता है.

 

सुशीला हॉस्पिटल ने मनाया विश्व स्तनपान दिवस

इटावा
सुशीला हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर स्टेशन रोड में विश्व स्तनपान दिवस सप्ताह मनाया गया ।इस अवसर पर वरिष्ठ बाल रोग विशेषज्ञ एवं आई एम ए इटावा के सचिव प्रोफेसर डॉ डीके सिंह ने बताया स्तनपान शिशुओं के लिए अमृत पान के समान है जो शिशु अपनी मां का स्तनपान नहीं करते हैं उन शिशुओं के अकाल मृत्यु की संभावना ज्यादा होती है। स्तनपान मानवता के लिए एक वरदान के समान है स्तनपान करने वाले शिशुओं में भविष्य में डायबिटीज, हाइपरटेंशन तथा कैंसर की संभावना बहुत कम होती है। जो शिशु स्तनपान करते हैं वह ज्यादा स्वस्थ तथा दिमाग से तेज होते है ।मां के दूध की संरचना इस तरह से होती है कि मां का दूध नवजात शिशु को होने वाले विभिन्न संक्रमण से बचाता है। मां के दूध में इम्यूनो ग्लोबिन, इंटरफेरॉन ,लिंफीसाइट ,सृवित होने से शिशु ,स्वासन तथा पाचन तंत्र के संक्रमण से सुरक्षित रहता है। डॉ डीके सिंह ने सभी मरीज के तीमारदारों को जागरूक करते हुए बताया कि सभी शिशुओं को जन्म से 6 माह तक केवल स्तनपान कराना आवश्यक है।
सीनियर स्पेशलिस्ट एवं स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉक्टर ममता सिंह ने उपस्थित लोगों को बताया कि स्तनपान केवल शिशुओं के लिए ही लाभकारी नहीं यह माताओं के लिए भी वरदान है। जो माताएं अपने शिशुओं को स्तनपान कराती है उन्हें स्तन तथा ओवरी में कैंसर की संभावना बहुत कम होती है तथा प्रसव के बाद माताओं में मोटापे की समस्या नहीं रहती।

नेचुरल क्‍लींजर की तरह काम करता हैं टमाटर, यहाँ जानिए इसे फेस पर लगाने से मिलने वाले फायदे

मानसून में त्वचा अक्सर चिपचिपी और डल हो जाती है। ऐसे में चेहरे पर पहले जैसा ग्लो वापस लाने के लिए आप ट्राई कर सकते हैं टमाटर का ये फेस पेक। टमाटर में मौजूद लाइकोपीन और कई अन्य एंटीऑक्सीडेंट त्वचा पर फ्री रेडिकल्‍स के प्रभाव को रोकने और उम्र बढ़ने के संकेतों को दूर करने में मदद करते हैं।  चेहरे पर इंस्टेंट ग्लो लाना चाहते हैं तो ट्राई करें टमाटर का ये फेस पेक।

टमाटर का फेस पैक बनाने के लिए सामग्री-
-टमाटर- 1
-बेसन- 1 चम्‍मच
-शहद- कुछ बूंदें

टमाटर का फेस पैक बनाने की विधि-
टमाटर का फेस पैक बनाने के लिए सबसे पहले टमाटर को बीच में से काट लें। फिर इसे बेसन में डूबोकर, इसमें थोड़ा सा शहद डालें। अब इसे हल्‍का निचोड़कर चेहरे पर लगाकर थोड़ी देर स्‍क्रब करें। फिर इसे चेहरे पर ही लगाकर 10 मिनट के लिए छोड़ दें। दस मिनट बाद चेहरे को अच्‍छी तरह पानी से धो लें। आप इस पैक का इस्‍तेमाल हफ्ते में 3 बार जरूर करें।

 

 

 

 

 

एक्सरसाइज और डाइटिंग से भी नहीं कम हो रहा हैं वजन तो यहाँ जानिए कुछ आसान उपाए

आजकल ज्यादा वजन एक कॉमन समस्या बन चुका है। बढ़े हुए वजन की वजह से कम उम्र में भी तमाम समस्याएं जैसे डायबिटीजए बीपीए जॉइंट पेन आदि लोगों को घेर लेती हैं।

इन समस्याओं से बचने के लिए समस्याओं की जड़ यानी मोटापे को दूर करना बहुत जरूरी है। वजन को कम करने के लिए लोग एक्सरसाइज और डाइटिंग वगैरह कई तरह के प्रयास करते हैं।

1.पम्पकिन सीड्स
पम्पकिन सीड्स यानी कद्दू के बीजों में आयरनए कैल्शियमए बी 2ए फोलेट. फाइबर और बीटा-कैरोटीन सहित तमाम पोषक तत्व होते हैं, साथ ही अन्य सीड्स के मुकाबले सबसे ज़्यादा जिंक होता है। फैट बर्न करने के लिए जिंक काफी अहम रोल निभाता है।

3. चिया सीड्स
चिया सीड्स काले और सफेद रंग के बहुत छोटे बीज होते हैंण् इनमें भरपूर मात्रा में फाइबरए मैग्नीशियमए पोटैशियम और आयरन पाया जाता है।पेट को लंबे समय तक भरा हुआ महसूस कराता है। ऐसे में आपको जल्दी भूख नहीं लगती, साथ ही पोषक तत्व भी मिल जाते हैं।

4. सनफ्लॉवर सीड्स
सनफ्लॉवर सीड्स यानी सूरजमुखी के बीज को आप सलाद या सूप के ऊपर टॉपिंग्स की तरह डालकर सेवन कर सकते हैं। इसमें भी विटामिन ई और तमाम खनिज पदार्थ मौजूद होते हैं। विटामिन ई को एंटीऑक्सिडेंट्स का एक अच्छा सोर्स माना जाता है।

रोटी और सब्जी की जगह बच्चों को खिलाएं साबूदाना, यहाँ जानिए इससे होने वाले कुछ लाभ

बढ़ते हुए बच्चों को कुछ ऐसी चीजें खिलानी चाहिए जिससे कि उनकी हाइट भी बढ़ सके। आप दाल, रोटी और सब्जियों के अलावा कुछ ऐसी चीजों को भी उनकी डाइट में शामिल कर सकते हैं, जो सिर्फ कुछ मौकों या स्पेशल दिनों में ही खाई जाती है।  बच्चों को क्यों खिलाना चाहिए साबूदाने से बने पकवान-

प्रोटीन – साबूदाना प्रोटीन का अच्छा स्रोत माना जाता है। यह शाकाहारी लोगों के लिए प्रोटीन का हेल्दीन विकल्प होता है। बच्चोंज के विकास के लिए प्रोटीन बहुत जरूरी होता है और आप साबूदाने की खीर के जरिए अपने बच्चेच की डाइट में आसानी से प्रोटीन शामिल कर सकते हैं।

रक्त संचार – रक्त संचार के लिए पोटेशियम की जरूरत होती है और साबूदाने में यह प्रचुर मात्रा में पाया जाता है। ब्लेड सर्कुलेशन ठीक से हो, इसके लिए साबूदाने को बच्चों के भोजन में नियमित रूप से शामिल करें।

पाचन में सुधार – साबूदाना स्टार्च और कार्बोहाइड्रेट का शुद्ध रूप है, इसलिए यह न केवल पचाने में आसान है बल्कि पाचन तंत्र को भी दुरुस्त् रखता है। अगर आपके बच्चे को कब्ज रहती है, तो उसको साबूदाना खिलाएं।

 

 

 

दिमाग और शरीर की थकान को दूर करेंगे ये तीन आयल, सोने से पहले जरुर करें मसाज

भागती-दौड़ती जिंदगी में अक्सर हमें थकान महसूस होती रहती है। साथ ही हम बहुत सी चीजों पर प्रतिक्रिया न देकर अपने अंदर ऊर्जा रखते रहते हैं, जो एक समय बाद हमें अंदर ही अंदर परेशान करना शुरू कर देती है। बहुत से लोग हमेशा सिरदर्द की चपेट में रहते हैं, इसके पीछे यह कारण भी अहम होता है।

लैवेंडर ऑयल – इसकी महक आपको सुलाने के अलावा आपके मन में हो रही उथल-पुथल को भी काफी हद तक शांत कर देती है।आप इससे मसाज करने के लिए आप दो चम्मच कैस्टर ऑयल लें और उसमें एसेंशियल लैवेंडर ऑयल की कुछ बूंदे मिला लें। तैयार मिक्स ऑयल से पूरी बॉडी की मसाज लें। इससे चेहरे पर पिम्पल की समस्या भी दूर होती है।

यूके लिपटिस ऑयल- यूके लिपटिस ऑयल भी दिमाग और शरीर की थकान, दर्द और ऐंठन में राहत दिलानेवाला होता है। यह शरीर की सूजन को कम करता है। इसमें एंटीबॉयोटिक्स प्रॉपटी होती है, जो आपके चेहरे के लिए लाभदायक होती है।

रोजमेरी ऑयल- रोजमेरी ऑयल की भाप लेने से सिरदर्द में तुरंत आराम मिलता है। यह जोड़ों के दर्द में राहत देने का काम भी करता है। आप इस तेल को सोने के लिए भी इस्तेमाल कर सकते हैं यानी आप अपनी तकिया पर इसकी कुछ बूंदें छिड़ककर सो सकते हैं।