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हेल्थ

1 गिलास गुनगुने दूध के साथ 2 अंजीर खाने से शरीर को होंगे ये लाभ

गलत खानपान व लाइफ स्टाइल के कारण आर्टरीज की दीवार पर खून का प्रेशर बढ़ने लगता है। इसके कारण हाई ब्लड प्रेशर की समस्या होने लगती है। वहीं आज दुनियाभर में करीब 20 करोड़ से अधिक लोग हाई बीपी की समस्या से परेशान है।

अंजीर में विटामिन ए, सी, ई, के, कैल्शियम, आयरन, फाइबर, पोटैशियम, कॉपर, एंटी-ऑक्सीडेंट्स गुण आदि होते हैं। यह शरीर में ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने में मदद करते हैं। ऐसे में दिल स्वस्थ रहता है। साथ ही शरीर का बेहतर तरीके से विकास होने में मदद मिलती है।

हाई बी पी से परेशान लोग अंजीर वाला दूध पी सकते हैं। इसके लिए 1 गिलास गुनगुने दूध के साथ 2 अंजीर खाएं। आप सोने से पहले इसका सेवन कर सकती हैं। यह ब्लड प्रेशर कंट्रोल रखने में मदद करेगा।

मोटापे से परेशान लोग अंजीर का सेवन करके इसे कम कर सकते हैं। अंजीर कम कैलोरी वाला फ्रूट है। ऐसे में इसका सेवन करने से वजन कम होने में मदद मिलती है।

 

दांतों की सड़न व सांस की बदबू को रोकने में मदद करता हैं गन्ना

मुंह की दुर्गंध हो या बेकार इम्यूनिटी, दोनों ही बातें अक्सर आदमी के लिए कठिनाई का सबब बन जाती हैं.  इसमें आयरन, पोटैशियम, कैल्शियम व मैग्नीशियम जैसे जरूरी पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो शरीर को कई तरीके से लाभ पहुंचाने का काम करते हैं। इतना ही नहीं गन्ने को चबाने से मुंह में बनने वाली लार का निर्माण भी अच्छी मात्रा में होता है.

यह लार गन्ने में उपस्थित कैल्शियम के साथ मिलकर ऐसे एंजमाइम्स का निर्माण करते हैं जो दांतों व मसूड़ों को मजबूत बनाते हैं.गन्ने का रस खनिजों में बेहद समृद्ध माना जाता है.आपको जानकर हैरानी होगी कि यह दांतों की समस्या से लेकर कैंसर जैसी जानलेवा बीमारी तक की रोकथाम कर सकता है। इसमें पोटेशियम व मिनरल्स उपस्थित होते हैं, जो एंटी-बैक्टेरियल्स की तरह कार्य करते हुए दांतों की सड़न व सांस की बदबू को रोकने में मदद करते हैं.

शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए आप गन्ने के रस का सेवन कर सकते हैं. इम्यूनिटी निर्बल होने पर आदमी जल्दी संक्रमण की चपेट में आकर बीमार पड़ जाता हैगन्ने का रस प्राकृतिक एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होने की वजह से संक्रमण से लड़कर आदमी की इम्यूनिटी बूस्ट करता है.

जिम में घंटों वर्कआउट करने के बाद भी नहीं दिखता हैं रिजल्ट तो फॉलो करे ये स्टेप्स

हम में से कई लोग खुद को फिट रखने के लिए जिम में घंटों वर्कआउट करते हैं. लेकिन वर्कआउट (Workout) के बाद अक्सर ऐसी गलतियां कर देते हैं जो आपकी मेहनत को पूरी तरह से बर्बाद कर सकता है. अक्सर वर्कआउट के बाद हम पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं पीते हैं. पर्याप्त आराम नहीं करना और डाइट में सही पोषक तत्वों को शामिल नहीं करना है.

ज्यादातर लोग अपने डेली रूटीन में अधिका मात्रा में पानी नहीं पीते हैं. शरीर को डिहाइड्रेशन से बचाने के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी पीना चाहिए. इसके अलावा समय- समय पर लिक्विड चीजें डाइट में लेनी चाहिए. अगर आप इंटेस वर्कआउट करते हैं तो कुछ समय बाद पर्याप्त मात्रा में पानी पीना चाहिए.

एक्सरसाइज करने के बाद शुगर वाली चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए. आपको अधिक मात्रा में कैलोरी का सेवन करने से परहेज करना चाहिए. हम सभी जानते हैं चीनी वाली चीजों में अधिक मात्रा में कैलोरी होती है.

हाई फैट मील और स्नैक्स खाने की वजह से पाचन तंत्र धीमा हो जाता है और शरीर को रिकवर होने में बाधा आ सकती है. शरीर को एनर्जी देने के लिए डाइट में लीन प्रोटीन और कॉम्पलेक्स कार्ब्स वाली चीजों को शामिल कर सकते हैं.

 

गुड़ खाने से शरीर में कैल्शियम और आयरन की कमी होगी दूर

शरीर को स्वस्थ रखने के हड्डियों को मजबूत होना जरूरी है. जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है हड्डियां कमजोर होने लगती हैं. 35 साल की उम्र के बाद शरीर में कैल्शियम की कमी होने लगती है, जिसका असर हड्डियों और दातों पर सबसे ज्यादा पड़ता है.

इसके अलावा कई बार गलत खान-पान की आदत और लाइफस्टाइल की वजह से भी हड्डियां कमजोर हो जाती हैं. अगर हड्डियों को मजबूत बनाना है तो कुछ आदतों से दूर रहने की जरूरत है.

1- अपने आहार में ड्राई फ्रूट्स जैसे काजू, बादाम, अखरोट और किशमिश शामिल करें. इनमें कैल्शियम और पोटैशियम काफी पाया जाता है.
2- कैल्शियम के लिए आप खाने में गुड़ जरूर शामिल करें. गुड़ खाने से शरीर को कैल्शियम और आयरन दोनों मिलते हैं.
3- खट्टे फलों में विटामिन सी, विटामिन डी और कैल्शियम काफी होता है. हड्डियों को मजबूत बनाने के लिए अपनी डाइट में संतरा और दूसरे खट्टे फल शामिल करें.
4- अंडा में सभी जरूरी पोषक तत्व पाए जाते हैं. रोज एक अंडा खाने से आपकी बोन हेल्थ भी अच्छी रहती है. अंडा में प्रोटीन, विटामिन डी और कैल्शियम भी पाया जाता है.
5- हड्डियों को ताकतवर बनाने के लिए हरी सब्जियां जरूरी खाएं. बीन्स को सब्जियों में जरूर शामिल करें, इसमें विटामिन ए, सी, और के, और फोलिक एसिड भी होता है.

तिल के लड्डू और रेवड़ी का सेवन करने से आपके शरीर को मिलेगी एनर्जी और गर्मी

क्या कभी आपने सोचा है कि तिल का लड्डू और रेवड़ी जैसी कुछ मीठी चीजें पारंपरिक रूप से ठंड के मौसम में क्यों खाए जाते हैं? इसके पीछे भी कुछ कारण हैं, इस तरह की चीजें ऐसी सामग्री से बनाई जाती हैं जो शरीर को अंदर से गर्म करने और एनर्जी प्रदान करने में मदद कर सकती हैं.

गर्म, आराम देने वाले फूड की लालसा को पूरा करने में मदद कर सकते हैं. इन चीजों में तिल का इस्तेमाल होता है, जिनमें वार्मिंग गुण होते हैं और यह इम्यून सिस्टम को बूस्ट करने में मदद करते हैं. तिल को आप अपनी डाइट में कैसे शामिल कर सकते हैं.

रेवड़ी को घी से बनाया जाता है. घी से आपको कई तरह के स्वास्थ्य लाभ मिलते हैं और अक्सर इसका उपयोग पारंपरिक आयुर्वेदिक चिकित्सा में पाचन में सुधार और शरीर की प्राकृतिक सुरक्षा में मदद करने के लिए किया जाता है.

तिल का लड्डू और रेवड़ी जैसी मिठाइयां इस बिल के लिए पूरी तरह से फिट हैं क्योंकि वे रिच और संतोषजनक हैं फिर भी हल्के होते हैं, जिसे आनंद के साथ खाया जा सकता है. इसके अलावा वे ऐसे इंग्रेडिएंट से बने होते हैं

मेंटल हेल्थ की हमेशा बात करना भी आपके लिए हो सकता हैं खतरनाक

ऐसा क्यों है कि हम जहां भी जाते हैं अपनी मेंटल हेल्थ की देखभाल करने की सलाह सुनने के बावजूद हम पहले से कहीं अधिक तनावग्रस्त और घबराए हुए महसूस कर रहे हैं?

अगर हम किसी अच्छे, विचारशील और हमदर्द से बात करते हैं तो हम लाख गुना बेहतर महसूस करेंगे. हालांकि, अन-मैच्योर के साथ एक चुनौतीपूर्ण बातचीत करना बहुत गलत हो सकता है और स्पीकर को अपर्याप्त, गलत समझा और अकेला महसूस कर सकता है.

लोग अक्सर अजीब व्यवहार करते हैं जब वो आपकी मानसिक स्थिति के बारे में सुनते हैं. पूरी तरह से ईमानदार होने के लिए उनमें से कुछ नाटक को पसंद करते हैं. बार-बार ‘खुश विचार सोचो!’ जैसी बातें कहकर और ‘इसे बाहर निकालो और तुम बेहतर महसूस करोगे’ ये दोस्त शायद ही दूसरों को प्रेरित करते हैं. अपने दोस्तों के साथ बात करने के बाद, हम शायद ही कभी बेहतर महसूस करते हैं. वास्तव में अक्सर ऐसा ही होता है. बात करना तभी मायने रखता है जब आपको ऐसे दोस्त मिलें जो आपको अच्छे से सुनें.

अप्रिय सलाह अधिक तनाव पैदा कर सकती है
पहली नजर में, गलत लोगों के साथ अपने मानसिक स्वास्थ्य पर चर्चा करते समय ‘अपनी अंदर की आवाज को सुनें’ और ‘अपनी भावनाओं पर ध्यान केंद्रित करें’ जैसी बातें बहुत अच्छी लग सकती हैं. हालांकि, जब हम इस बात को ध्यान में रखते हैं कि किसी के मस्तिष्क का इमोशनल पार्ट सबसे शक्तिशाली, तेज और बेवकूफी वाला हिस्सा है तो अपनी भावनाओं को हम पर हावी होने देना और इसे पूरी तरह से बाहर कर देना अक्सर गलत होता है.

खाद्य योजक की वजह से भी बढ़ रहा हैं टाइप 2 मधुमेह का खतरा

क नए अध्ययन से पता चला है कि खाद्य योजक, जो स्वाद बनाए रखने या स्वाद, उपस्थिति, या अन्य संवेदी गुणों को बढ़ाने के लिए भोजन में जोड़े जाते हैं, टाइप 2 मधुमेह के बढ़ते जोखिम से जुड़े हैं।

अध्ययन के अनुसार, नाइट्राइट्स और नाइट्रेट्स रासायनिक यौगिक हैं जिनका उपयोग शेल्फ जीवन को बढ़ाने के लिए खाद्य योजक के रूप में किया जाता है, जबकि शोधकर्ता नाइट्राइट्स के आहार जोखिम और टाइप 2 मधुमेह के जोखिम के बीच एक कड़ी का सुझाव देते हैं।

नाइट्राइट्स/नाइट्रेट्स टाइप 2 मधुमेह जोखिम के लिए आहार जोखिम के बीच संबंधों की जांच करने के लिए, शोधकर्ताओं ने संभावित समूह न्यूट्रीनेट-सैंटे में 1,04,168 प्रतिभागियों से एकत्र किए गए डेटा तक पहुंच बनाई।

कई डेटाबेस और स्रोतों से प्राप्त विस्तृत नाइट्राइट/नाइट्रेट एक्सपोजर का उपयोग करके स्वास्थ्य परिणामों के साथ स्वयं रिपोर्ट की गई आहार जानकारी का विश्लेषण किया।शोधकर्ताओं ने पाया कि NutriNet-Sante समूह में भाग लेने वालों ने समग्र रूप से नाइट्राइट्स के उच्च सेवन की सूचना दी, टाइप 2 मधुमेह के विकास का उच्च जोखिम था।

सोने से पहले 1 चम्मच भुनी हुई अजवाइन का सेवन करने से होंगे ये फायदें

भारतीय किचन में मौजूद मसाले स्वाद के साथ-साथ सेहत के लिए भी बहुत ही फायदेमंद होते हैं। मसालों में से एक है अजवाइन। अजवाइन में प्रोटीन, फैट, फाइबर, मिनरल, कैल्शियम, आयरन और निकोटिनिक एसिड पाया जाता है

रात को यदि आपको अच्छी नींद नहीं आती तो आप अजवाइन का सेवन कर सकते हैं। अजवाइन खाने से आपका मस्तिष्क शांत होता है। आपको नींद भी अच्छी आती है और इसका कोई भी साइड इफेक्ट नहीं होता।

यदि आपको कमर में दर्द रहती है तो सोने से पहले 1 चम्मच भुनी हुई अजवाइन का सेवन करें। अजवाइन खाने के बाद आप 1 गिलास गर्म पानी जरुर पिएं। परंतु अजवाइन का सेवन आप खाना खाने के बाद ही करें।

सर्दी-जुकाम की समस्या से राहत पाने के लिए आप अजवाइन का सेवन कर सकते हैं। 1 चम्मच अजवाइन में 1 चुटकी काला नमक मिलाकर खाएं।

यदि आपको कब्ज की समस्या रहती है तो आप 1 चम्मच कच्ची अजवाइन को तवे पर भून लें। फिर रात में सोने से पहले इसे चबाकर खाएं। इसके बाद गर्म पानी पिएं। इस नुस्खे से आपको कब्ज की समस्या से आराम मिलेगा।

 

कब्ज दूर करने के लिए इसबगोल का करना चाहिए सेवन ? जानिए यहाँ

सबगोल का पौधा गेहूं के पौधे जैसा दिखता है। इस पौधे के बीज एक चिपचिपे सफेद पदार्थ से ढके होते हैं जिसे साइलियम हस्क कहते हैं। इसबगोल पाउडर बाजार में आसानी से मिल जाता है।

आयुर्वेद के अनुसार इसबगोल में शीतलता होती है, जो पुराने दस्त, पेचिश और आंतों की सूजन से राहत दिलाने में कारगर है। यह आंतों की सूजन और सूजन को कम करता है।

इसबगोल के गलत इस्तेमाल से भी शरीर में कई तरह की समस्याएं हो सकती हैं। यूं तो इसबगोल के सेवन से मल ढीला हो जाता है, लेकिन इसका अधिक मात्रा में सेवन आंतों में रुकावट पैदा कर सकता है।

इसबगोल का सेवन सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होता है, लेकिन गलत तरीके से सेवन करने पर यह शरीर को नुकसान भी पहुंचा सकता है। आइए एक्सपर्ट से जानते हैं कि इसबगोल का सेवन कितना और कैसे करें.?

अगर आप कब्ज से परेशान हैं तो लंच और डिनर से 20 मिनट पहले ईसबगुल का सेवन करें। अगर आपको ज्यादा कब्ज़ नहीं है तो आप इसका सेवन रात के समय कर सकते हैं। इसका सेवन करने से पेट भरा हुआ महसूस होता है और कब्ज से राहत मिलती है।

उंगली में होने वाले दर्द का कारण कही फ्रैक्‍चर तो नहीं ? जाने इसके लक्ष्ण

उंगल‍ियां और अंगूठे हमारे शरीर का अहम ह‍िस्‍सा है। इनकी मदद से ही हम अपनी द‍िनचर्या के कई काम करते हैं। कई बार उंंगली या अंगूठे में होने वाले दर्द को हम नजरअंदाज कर देते हैं।

लेक‍िन आपको बता दें उंगली में होने वाले दर्द का कारण फ्रैक्‍चर हो सकता है। हड्ड‍ी के टूट जाने की स्‍थ‍ित‍ि को फ्रैक्‍चर कहा जाता है।   अगर हड्डी टूट गई है, तो अंदरूनी ब्‍लीड‍िंग या कोई डैमेज हो सकता है।

 लक्षण क्‍या हैं?

  • उंगली में फ्रैक्‍चर होने पर तेज दर्द का अनुभव होता है।
  • हड्ड‍ी का अपनी जगह से हि‍ल जाना या मोच आना भी उंगली में फ्रैक्‍चर का लक्षण है।
  • उंगली की हड्डी में फ्रैक्‍चर होने पर सूजन हो सकती है।
  • फ्रैक्‍चर के बाद ट‍िशूज से तरल पदार्थ न‍िकलता है ज‍िससे सूजन आ सकती है।
  • उंगली, हाथ या कलाई को ह‍िलाने में परेशानी हो सकती है।
  • उंगली का सख्‍त या नीला होना भी उंगली टूटने का लक्षण है।

नुकसान

हाथ में फ्रैक्‍चर होने से पूरे हाथ का एलाइनमेंट खराब हो जाता है। उंगली की हड्ड‍ियों को फालंजेस के नाम से जाना जाता है। हर उंगली में 3 और अंगूठे में 2 फालंजेस होते हैं।