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हेल्थ

दांतों के पीलेपन की वजह से होना पड़ता हैं शर्मिंदा तो इन बातों का जरुर रखें ध्यान

आपके चेहरे की खूबसूरती सिर्फ आपकी आंखें या आपके होेंठ ही बयां नहीं करते हैं. आपके चेहरे और मुस्कान को सुंदर बनाते हैं आपके चमचमाते मोती जैसे दांत. दांतों का पीलापन इसी खूबसूरती पर ग्रहण लगा सकता है.

इसलिए चेहरे के साथ ही अपनी मुस्कान को भी तरोताजा रखने के लिए अपने दांतों की सफाई और चमक का ख्याल रखना भी जरूरी है.मसूड़ों के लिए नुकसानदायक ब्लीच में हाइड्रोजन पेरॉक्साइड होता है, इस वजह से इससे मसूड़ों पर जलन होने लगती है इसलिए इसका इस्तेमाल अधिक नहीं करना चाहिए.

ज्यादा उपयोग करने से मसूड़ों में जलन या घाव की समस्या लंबे समय तक बने रहना नुकसानदायक हो सकता है. इसके अधिक उपयोग से मसूड़े कमजोर भी होते हैं.

यदि हम दिनभर टीवी देखें तो पाएंगे कि कई कंपनियों के टूथपेस्ट के विज्ञापन अलग-अलग तरह से ग्राहकों को लुभाते नजर आएंगे. हर टूथपेस्ट कंपनी खुद को अलग और बेहतर साबित करती है, लेकिन क्या आपने कभी सोचा कि बीते जमाने में दांतों को कैसे स्वस्थ और स्वच्छ रखा जाता था.

आज हम आपको बताते हैं कुछ ऐसी दातुन के बारे में जिनके नियमित इस्तेमाल से आपके दांतों की बीमारी तो दूर होगी, साथ में प्राकृतिक रूप से दांतों में चमक और खूबसूरती भी आएगी.

खानपान में लापरवाही के कारण लोगों में तेज़ी से बढ़ रहा हैं गैस्ट्रिक कैंसर का खतरा

कभी-कभार खाने पीने या गैस की वजह से पेट में दर्द होना सामान्य हो सकता है, लेकिन अगर बिना वजह आपके पेट के किसी विशेष हिस्से में दर्द हो रहा है, तो यह किसी बीमारी की तरफ इशारा करता है। पेट के कैंसर को गैस्ट्रिक कैंसर के नाम से भी जाना जाता है. यह कुछ असाधारण और घातक कैंसर युक्त कोशिकाएं होती हैं जो पेट के एक हिस्से में ढेर के रूप में जमा हो जाती हैं.

इसके अलावा, कोलन और रेक्टम, आंतों, लिवर, इसोफेगस (खाने की नली), अग्नाशय या पित्त की थैली आदि में जब अवांछित गठान विकसित होने लगती है तो उसे पेट का कैंसर माना जाता है. एक रिसर्च के मुताबिक कैंसर से होने वाली तमाम मौतों में 6 मौतें पेट के कैंसर से जुड़ी हुई होती हैं.

पेट का कैंसर क्यों होता है, इसका एक विशेष कारण तो नहीं है, लेकिन खानपान में लापरवाही इसका मुख्य कारण है, विशेषकर आजकल खानपान में ऐसी सामग्री ज्यादा शामिल हो रही है जो कीटनाशक और खाद से पैदा की जा रही हैं. ज्यादा उत्पादन के लिए खेतों में रासायनिक दवाओं का अंधाधुंध इस्तेमाल हो रहा है और ऐसा ही उत्पादित अनाज, फल या सब्जियों का सेवन हम करते हैं तो गंभीर बीमारियों को न्यौता दे देते हैं.

कोरोना से बचाव के लिए रोजाना करें ये सरल योगासन और प्राणायाम

कोरोना से बचाव के लिए योग के आसन एक रामबाण उपाय हैं। योग से शरीर पूर्णतया स्वस्थ रहता है। रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ने के साथ ही श्वसन तंत्र भी मजबूत होता है। जाहिर है स्वस्थ शरीर में किसी भी तरह के संक्रमण का सवाल ही नहीं उठता।

कोरोना वायरस के संक्रमण से बचने का एकमात्र सर्वमान्य हल योगासन ही है।योगासन और प्राणायाम करने वाले व्यक्तियों में स्फूर्ति व ऊर्जा का संचार होने के साथ शरीर के नस-नाडिय़ों की शुद्धि होती है. साथ ही रोग से लडऩे की क्षमता मिलती है.

1. उष्ट्रासन: पाचन तंत्र को बेहतर कर भूख बढ़ाता है. कमर दर्द में भी आराम.

2. पश्चिमोत्तानासन: यह यकृत और गुर्दे से संबंधित रोगों से बचाव करता है.

3. पवनमुक्तासन: वायु विकार और कब्ज मिटाने में प्रभावी है. दुर्बलता होती है दूर.

4. उत्तानपादासन: हाजमे को दुरुस्त रखने के साथ ही तंत्रिका तंत्र को भी मजबूत करता है.

5. मंडूकासन: मधुमेह, कोलाइटिस से मुक्ति में सहायक. पैंक्रियाज से इंसुलिन रिलीज करने में मददगार. ऐसे में आपकी इम्यूनिटी बढ़ जाती है.

कब्जी जैसी गंभीर समस्या से निजात दिलाने में लाभदायक हैं खट्टा दही

दही का सेवन आप जरूर करते होंगे, दही हमारे सेहत के लिए काफी फायदेमंद होता है दही को स्वास्थ्य के लिए बहुत लाभकारी माना जाता है। ये बात भी सच है कि दही में कई सारे बैक्टेरिया भी पाए जाते हैं .

जी हां मेडिकल साइंस की माने तो अगर एक कप दही में आप जीवाणुओं की गिनती करेंगे तो करोड़ों जीवाणु नजर आएंगे। दरअसल दही में छोटे-छोटे करोड़ों की संख्या में बैक्टीरिया मौजूद होते हैं इतना ही नहीं इन बैक्टीरियों को केवल लेंस के माध्यम से देखा जा सकता है।

१। खट्टा दही शरीर में विषाक्त पदार्थों को जमा नहीं होने देता है। जिससे कब्जी जैसी गंभीर समस्या नहीं होती है। खट्टा दही शरीर में उच्च रक्तचाप को नियंत्रित करता है। यह रक्त में खराब कोलेस्ट्रॉल या एलडीएल के स्तर को भी कम करता है।

2। खट्टा दही खाने से पाचन में सुधार होता है। क्योंकि इसमें अच्छे बैक्टीरिया की मात्रा बढ़ जाती है। इससे अल्सर का खतरा भी कम होता है।

3। खट्टा दूध में उपस्थित कैल्शियम की मात्रा शरीर के वसा को बढ़ाने में मदद करने वाले हार्मोन के उत्पादन को भी रोकता है। इसलिए खट्टा दही खाने से अतिरिक्त वजन कम होने की संभावना है। इसी वजह से हर दिन खट्टा दही पीने से भी दांत मजबूत होते हैं।
सावधानी

 

शहद सिर्फ त्वचा ही नहीं आपके स्वास्थ्य के लिए भी हैं वरदान, इम्यूनिटी बढाने के आएगा काम

पेट की जलन शांत करने से लेकर दिमाग को शांत करने तक शहद कई तरह से हमारे शरीर को लाभ पहुंचाता है। लेकिन जो लोग नियमित रूप से शहद का सेवन करते हैं, वे कई गंभीर बीमारियों से भी सुरक्षित रहते हैं। यहां जानें नियमित रूप से शहद खाने के लाभ…

शहद ग्लूकोज से भरपूर होता है। शरीर इसे जल्दी से अवशोषित करता है, जो व्यक्ति को ऊर्जा देता है। इसके अतिरिक्त, व्यायाम करने से पहले आधा चम्मच शहद खाने से व्यक्ति को थकान महसूस नहीं होती है। यदि आप चाय या कॉफी पीना पसंद करते हैं, तो चीनी के स्थान पर शहद का उपयोग करें

शहद में एंटीऑक्सिडेंट और एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं, और इसके नियमित सेवन से प्रतिरक्षा प्रणाली मजबूत होती है। सुबह खाली पेट गुनगुने पानी में नींबू का रस शहद मिलाकर पीने से चर्बी कम होती है और पाचन संबंधी कई समस्याएं ठीक हो सकती हैं। पाचन के कारण पेट की समस्याएं जैसे कब्ज, गैस, अपच संभव नहीं है।

पनीर का सेवन गर्भवती महिलाओं और बच्चों के शारीरिक और मानसिक विकास के लिए हैं फायदेमंद

पनीर का सेवन करना हर किसी को अच्छा लगता है क्योंकि इसका टेस्ट बहुत अच्छा होता है. इसलिए ज्यादातर लोग पनीर का सेवन करना पसंद करते हैं. लेकिन जब बात आती है कि क्या पनीर खाना सेहत के लिए लाभदायक है . अधिकतर लोगों के मन में यह बात आती है कि पनीर मैं फैट और कैलरी की मात्रा अधिक होती है इसलिए इसका सेवन से परहेज करना चाहिए.

लेकिन बिल्कुल गलत है क्योंकि हेल्दी फूड में ढेर सारे न्यूट्रीएंट्स होते हैं जो हमारे शरीर के लिए फायदेमंद होते हैं.पनीर में मौजूद प्रोटीन की मात्रा शाकाहारियों के लिए बहुत अच्छी है। ऐसा इसलिए, क्योंकि शाकाहारियों को दैनिक प्रोटीन की आवश्यक मात्रा की आपूर्ति पनीर से हो जाती है।

पनीर में पाया जाने वाला कैल्शियम और फॉस्फोरस गर्भवती महिलाओं और बच्चों के संपूर्ण शारीरिक और मानसिक विकास के लिए भी लाभदायक है।पनीर में उपलब्ध प्रचुर मात्रा में ओमेगा -3 फैटी एसिड हड्डियों को न केवल मजबूत बनाता है बल्कि अर्थराइटिस की रोकथाम में भी सहायक है।

सर्दी-जुकाम के साथ पेट में गैस को मिटाने में बेहद कारगर हैं अजवाइन, जरुर देखिए

अजवाइन  के विशेष गुणों के कारण इसका उपयोग लगभग हर घर में किया जाता है। पेट में गैस को मिटाने का इसके विशेष गुण के कारण मैदा से बनने वाली चीजों में इसे जरूर डाला जाता है।

अजवाइन को पराठा , अचार , कढ़ी ,चावल , बिस्किट , कुकीज़ आदि में उपयोग किया जाता है। प्रसूता यानि नवजात शिशु की माता को अजवाइन और गुड़ खिलाये जाते है जो प्रसूता के लिए कई प्रकार से लाभदायक होता है। इसके पत्ते भी उपयोग में लाये जाते है।

सर्दी-जुकाम से होने वाले बुखार में 5 ग्राम अजवायन और 1 ग्राम गिलोय का रस 100 मिली लीटर पानी में रात को भिगोकर रखें। सुबह पानी छानकर इसमें थोड़ा सा नमक मिलाकर पीने से आराम मिलेगा। बुखार में होने वाली घबराहट में 5 ग्राम अजवायन 50 मिली लीटर पानी में उबाल कर छान लें। आधा-आधा पानी 2 घंटे के अंतराल में पी लें, लाभ होगा।

ठंडा होने पर इस तेल से मालिश करें। 20-20 ग्राम अजवायन और मेथी के दाने पीस कर एक पतले कपड़े में बांध कर एक पोटली बना लें। इस पोटली को तवे पर गर्म करके प्रभावित जगह पर सावधानी के साथ लगाएं। एक बर्तन में अजवाइन के कुछ बीज पानी में उबालें। उस पानी में एक कपड़े को गीला कर दर्द वाली जगह की सिकाई करें। अजवायन के बीज थोड़े से पानी में पीस कर बनी पेस्ट प्रभावित जगह पर लगाने से भी राहत मिलती है।

ताड़ासन की मदद से आप भी पा सकते हैं कान के दर्द से राहत जरुर देखें

कान हमारे शरीर का सबसे जरूरी अंग है। इसमें जरा सा भी दर्द होने पर बेचैनी और सुनने में परेशानी होने लगती है। कान के दर्द से राहत और दूसरी बीमारियों से छुटकारा पाने के लिए कुछ लोग केमिकल युक्त दवाइयों का इस्तेमाल करते हैं तो कई घरेलू नुस्खे अपनाते हैं। मगर उससे ज्यादा फायदा नहीं होता। एेसे में आज हम आपको कुछ योग आसनों के बारे में बताएंगे जो कान की हर समस्या को दूर करने के साथ ही बेहरेपन को भी काफी हद तक दूर करेंगे।

1. ताड़ासन आसन 

ताड़ासन करना कानों के लिए बहुत फायदेमंद है। रोजाना कुछ दिनों तक इसको करने से पोस्चर में सुधार आने के साथ ही वजन भी कम होने लगता है। इस आसान को करने के लिए सबसे पहले एक जगह पर अपनी कमर और गर्दन को सीधा करके खड़े हो जाएं। इसके बाद अपने हाथ को सिर के ऊपर करें और सांस लेते हुए धीरे-धीरे पूरे शरीर को नीचे की ओर खीचें। कुछ समय तक इस अवस्था में रहने के बाद वापिस सामान्य स्थिति में आ जाए। इस आसन को दिन में कम से 5 बार करें।

2. अनुलोम-विलोम

कान में दर्द या फिर दूसरी समस्या होने पर अनुलोम-विलोम करें। इस कसरत को करने से तनाव कम होने के साथ ही कान के दर्द से भी रात मिलेगी। इस एक्सरसाइज को करने के लिए कमर सीधी करके एक जगह पर बैठ जाएं। फिर दाएं हाथ के अंगूठे से नाक के बाएं छेद को बंद करें। इसके बाद सांस अन्दर की ओर धीरे-धीरे खीचें और फिर बंद नाक यानि दाई नाक को धीरे धीरे खोलते हुए उससे सांस को बाहर की ओर धीरे- धीरे छोड़ें। ठीक इसी तरह अब बाएं हाथ से दाएं नाक के छेद को बंद करें। इस प्रक्रिया को कम से कम 10 से 12 बार करें।

3. रेस्टोरेटिव योग 

इस आसन को करने के लिए घर के सामान का सहारा लिया जा सकता है। इस आसन को करने से कान में हो रहे दर्द से तुरंत राहत मिलेगी। रेस्टोरेटिव योग करने के लिए एक समतल जगह पर कुश्न रखकर लेट जाएं। रोजाना इस आसन को करने से पैरों से लेकर कमर दर्द और कान दर्द से भी राहत मिलेगी।

लीवर डिटॉक्स करने के साथ वजन कम करती हैं Wheatgrass, देखिए इसके लाभ

व्‍हीट ग्रास सेहत के लिए किसी औषधि से कम नहीं है। दवाइयां बनाने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली व्हीट ग्रास में विटामिन्स, कैल्शियम, आयरन, मिनरल्स, एमिनो एसिड, खनिज और प्रोटीन होता है, जोकि कई बीमारियों को जड़ से खत्म कर देता है।

क्‍या होता है व्‍हीट ग्रास?
गेंहू के दाने बोने के बाद जो घास जैसे पत्ते उगते हैं उन्हें व्‍हीट ग्रास कहा जाता है। नवरात्रि के दिनों में लोग व्‍हीट ग्रास को मिट्टी के पात्र में डालकर उगाते हैं। इसके पत्तों को खाने या इनका जूस बनाकर पीने से कैंसर लेकर डायबिटीज तक की समस्या दूर रहती है। आइए जानते हैं इसके फायदे।

व्‍हीट ग्रास के फायदे
1. वजन कम करें

व्‍हीट ग्रास जूस में मौजूद बीटा-ग्लूकेन बॉडी से टॉक्सिन को यूरिन के रास्ते बाहर निकाल देता है। इससे पेट भरा-भरा रहता है, जिससे आप ओवरइटिंग से बच जाते हैं और इससे वजन कंट्रोल में रहता है। वजन कम करने के लिए सुबह खाली पेट इसके एक गिलास जूस का सेवन करें।

2. एनीमिया करें दूर
इसे रोज लेने से शरीर में ब्लड की मात्रा बढ़ती है और हीमोग्लोबिन का स्तर नार्मल रहता है। इससे एनीमिया की शिकायत दूर होती है। इसके अलावा रोजाना इसका सेवन ब्लड सर्कुलेशन भी नार्मल रखता है।

3. अर्थराइटिस दर्द से निजात
अर्थराइटिस में होने वाले जोड़ों के दर्द और अकड़न से छुटकारा पाने के लिए रोज 1 गिलास व्हीट ग्रास जूस का सेवन करें।

4. एनर्जी से भरपूर
अगर आप जल्दी थक जाते हैं तो इसका सेवन आपके लिए बहुत फायदेमंद है। सुबह इसका सेवन दिनभर शरीर में एनर्जी बनाए रखता है। इसके अलावा इससे थकान की समस्या भी नहीं होती।

5. पाचन में सहायक
इसमें मौजूद विटामिन बी, एमीनो एसिड और एंजाइम्स खाना पचाने में बहुत मददगार होते है।

6. लीवर को करें डिटॉक्स
व्हीस ग्रास के पाउडर को पानी के साथ लेने के लीवर डिटॉक्स हो जाता है। इसके अलावा इससे लीवर से जुड़ी प्रॉब्लम भी नहीं होती।

7. कैंसर
इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट गुण शरीर में कैंसर सेल्स को बढ़ने से रोकते हैं। इससे आप कैंसर के खतरे से बचे रहते हैं।

8. डायबिटीज
व्हीट ग्रास शरीर में ग्लूकोज की मात्रा को कंट्रोल करता है, जिससे डायबिटीज नार्मल रहती है। डायबिटिक मरीजों को रोज इसका गिलास जूस पीना चाहिए।

घुटने का दर्द कर रहा हैं परेशान तो कैस्टर का तेल आपको दिलाएगा इससे छुटकारा

आज के समय में सभी लोगों के लिए घुटने का दर्द एक जटिल समस्या बनती जा रही है घुटने का दर्द ना केवल बुजुर्गों में बल्कि युवा वर्ग में भी देखा जा रहा है घुटने के दर्द का सबसे बड़ा कारण है बॉडी में पोषक तत्वों की कमी होना

घुटने में दर्द होने के कारण लोगों को चलने फिरने में भी तकलीफ होने लगती है क्या आपको पता है अगर आप कैस्टर तेल का प्रयोग करते हैं तो इससे आपके घुटनों के दर्द घुटने का दर्द दूर हो जाएगा घुटने के दर्द से छुटकारा पाने के लिए कैस्टर तेल को गर्म करके अपने घुटने की मसाज करें

सामग्री-

कैस्टर ऑयल, गर्म पानी की बोतल, प्लास्टिक सिलोफोन, कपड़े के तीन छोटे-छोटे टुकड़े

घुटने के दर्द से छुटकारा पाने के लिए एक साफ कपड़े को गर्म पानी में डालकर भिगाएं अब इस पर कैस्टर तेल की कुछ बूंदें डालकर टपकने दे अब इसे दर्द वाले जगह पर रखें सिलोफोन की मदद से उस स्थान को कपड़े से पूरी तरह से बांध दें अब वहां पर गर्म पानी की बोतल रख कर छह से सात घंटो तक सिकाई करते रहे ऐसा करने से आपको लंबे समय तक दर्द से आराम मिलेगा