Sunday , November 24 2024

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‘DRDO प्रयोगशाला के पास अवैध निर्माण तुरंत हटाएं, केंद्र के हित से नहीं करेंगे समझौता’, अदालत का आदेश

बंबई उच्च न्यायालय ने रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा संचालित एक प्रयोगशाली (लेबोरटरी) के आसपास के इलाके में अवैध ढांचो को ध्वस्त करने का आदेश दिया। अदालत ने कहा कि वह निजी बिल्डर्स के लिए केंद्र के हितों से समझौता नहीं करेगा।

उच्च न्यायालय अधिकारियों की ओर से दाखिल उन याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी जिनमें हाई एनर्जी मैटेरियल्स रिसर्च लेबोरेटरी के 500 गज के दायरे में बने ढांचों को गिराने की मांग की गई थी। याचिकाओं पर न्यायमूर्ति गौतम पटेल और न्यायमूर्ति कमल खाटा की खंडपीठ सुनवाई कर रही थी। पीठ ने कहा कि यदि कोई व्यक्ति जानकारी छिपाकर अदालत से आदेश हासिल करता है, वह किसी भी राहत का हकदार नहीं है। ऐसी याचिका खारिज की जा सकती है।

पीठ ने कहा, हम स्पष्ट करना चाहते हैं कि निजी बिल्डर्स के हितों के लिए हम किसी भी परिस्थिति में केंद्र सरकार और रक्षा मंत्रालय के हितों से समझौता नहीं करेंगे। पीठ ने आठ फरवरी को नोटिस पर अंतरिम रोक लगा दी थी। बाद में अधिकारियों ने अदालत को बताया था कि याचिकाकर्ता ने गलत जानकारी देकर स्टे आदेश हासिल किया है।

पीठ ने अवैध ढांचों को ध्वस्त करने के नोटिस पर रोक लगाने के अपने पहले के आदेश को रद्द किया और याचिकाओं को खारिज किया। अदालत ने प्रत्येक याचिकाकर्ता पर एक-एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया।
अधिकारियों के मुताबिक, नवंबर 2023 में ढांचो को ध्वस्त कर दिया गया था। लेकिन फिर से खड़ा कर दिया गया था। जिसके बाद नए नोटिस जारी किए गए थे। अदालत ने कहा कि रक्षा अधिकारी 2021 से इन अवैध निर्माण के बारे में बारे में शिकायत कर रहे थे। पीठ ने कहा कि अवैध ढांचों को तत्काल गिराया जाए।

सेना में शामिल 46 मीटर लंबा मॉड्यूलर ब्रिज क्या है? जिसे DRDO ने किया है डिजाइन; जानें सब कुछ

मॉड्यूलर ब्रिज मंगलवार को भारतीय सेना में शामिल किया गया। यह कदम सेना के इंजीनियर्स की ब्रिजिंग क्षमता को बढ़ाएगा। इसे डीआरडीओ ने लार्सन एंड टुब्रो (एल एंड टी) के साथ मिलकर स्वदेशी रूप से डिजाइन और विकसित किया गया है। नई दिल्ली स्थित मानेकशॉ सेंटर में आयोजित समारोह में इस 46 मीटर लंबे मॉड्यूलर ब्रिज को सेना में शामिल किया गया। इस दौरान सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे, सेना और एल एंड टी के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।

इस मॉड्यूलर ब्रिज में 2,585 करोड़ रुपये की कीमत के कुल 41 सेट अगले चार वर्षों में शामिल किए जाएंगे। इस गेम चेंबर ब्रिज को डीआरडीओ (रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन) ने डिजाइन और विकसित किया है। जबकि एल एंड टी ने डीआरडीओ की ओर से नामित एजेंसी के रूप में इनका उत्पादन किया।

यह पूरी तरह से असॉल्ट ब्रिज है। मॉड्यूलर ब्रिज सेना को नहरों और खाइयों जैसी बाधाओं को आसानी से पार करने में समक्ष बनाता है। यह भारतीय सेना के इंजीनियर्स की ब्रिजिंग क्षमता को बढ़ाएगा। क्योंकि इन्हें बहुत कम समय में तैनात किया जा सकता है। मॉड्यूलर ब्रिज को आधुनिक सैन्य उपकरणों के साथ डिजाइन और विकसित किया गया है। यह भारत के कौशल और रक्षा क्षेत्र में देश की आत्मनिर्भरता को दिखाता है।
मॉड्यूलर ब्रिज की खरीद के लिए फरवरी 2023 में एल एंड टी के साथ अनुबंध किया गया था। सेना के मुताबिक, मॉड्यूलर ब्रिज के प्रत्येक सेट में 8×8 मॉबिलिटी वाहनों पर आधारित लॉन्चर वाहन शामिल हैं।

मॉड्यूलर ब्रिज मैन्युअल रूप से लॉन्च किए गए मीडियम गर्डर ब्रिज (एमजीबी) की जगह लेंगे, जो वर्तमान में सेना में इस्तेमाल किए जा रहे हैं। अधिकारियों ने कहा कि स्वदेशी रूप से डिजाइन और निर्मित मॉड्यूलर ब्रिज के कई फायदे होंगे। उन्होंने कहा कि यह ब्रिज से न केवल सेना की परिचालन क्षमता को दिखाते हैं, बल्कि रक्षा प्रौद्योगिकी और विनिर्माण में भारत की आत्मनिर्भरता को दिखाते हैं।

‘विपक्षी गठबंधन ने हार मानी’, तमिलनाडु में ‘INDIA’ पर जमकर बरसे प्रधानमंत्री मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सार्वजनिक बैठक में हिस्सा लेने के लिए तमिलनाडु में तिरुपुर के पल्लदम पहुंचे। इस दौरान उन्होंने लोगों का अभिवादन किया। इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने राज्य के विकास से लेकर विपक्षी गठबंधन ‘INDIA’ पर बात की। उन्होंने कहा कि आज जहां भी मेरी नजर पड़ रही है वहां पर लोग ही लोग नजर आ रहे हैं। इतना बड़ा विराट सम्मेलन, आप सब इतनी बड़ी तादाद हम सबको आर्शीवाद देने के लिए आए मैं आपका हृदय से अभिनंदन करता हूं।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि जो लोग दिल्ली के एयर कंडीशन कमरों में बैठकर देश को टुकड़ों में देखने की कोशिश करते हैं , देश को टुकड़ों में बांटने की कोशिश करते हैं वो जारा आकर के देखले कि तमिलनाडु हिंदुस्तान का भाग्य बनाने वाला ये राज्य आज आपके आंखों के सामने है। उन्होंने कहा कि जो राजनीति के समीकरण बनाते हैं वे लिख ले कि इस बार देश का भाग्य पक्का करने में तमिलनाडु सबसे आगे होगा।

10,000 से ज्यादा लोगों का BJD के टिकट के लिए आवेदन, पार्टी नेता का दावा- नवीन पटनायक फिर होंगे सीएम

आगामी लोकसभा चुनाव और ओडिशा विधानसभा चुनाव के लिए बीजू जनता दल (बीजेडी) के टिकट के लिए 10,000 लोगों ने आवेदन किया है। पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने इसकी जानकारी दी है। बता दें कि ओडिशा विधानसभा में विधायकों की संख्या 147, जबकि लोकसभा में सांसदों की संख्या 21 है।

बीजेडी के संगठनात्मक सचिव प्रणव प्रकाश दास ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कहा, “10,000 से ज्यादा, जिनमें कई पेशेवर भी शामिल हैं, ने बीजेडी के टिकट के लिए आवेदन किया है। हमें भरोसा है कि बीजेडी इस बार 4.5 करोड़ लोगों के आशिर्वाद के साथ ऐतिहासिक जीत हासिल करेगी।”

‘नवीन पटनायक फिर बनेंगे सीएम’, बीजेडी नेता का दावा
बीजेडी के नेता ने दावा किया कि ओडिशा के लोगों ने तय कर लिया है कि वे छठी बार फिर नवीन पटनायक को अपना मुख्यमंत्री बनाएंगे। प्रणव प्रकाश दास ने कहा, “बीजेडी आने वाले चुनावों में भारी मतों के साथ जीत हासिल करेगी।” बीजेडी नेता ने दावा किया कि राष्ट्रीय स्तर के सर्वेक्षण रिपोर्ट के अनुसार नवीन पटनायक देश के नंबर एक मुख्यमंत्री हैं। उन्होंने बताया कि पार्टी ने पंचायत चुनाव में 52 फीसदी से अधिक वोट हासिल किए हैं।

प्रणव प्रकाश दास ने कहा, “इसमें कोई संदेह नहीं है कि बीजेडी राज्य में नंबर एक राजनीतिक पार्टी है।” बीजेडी के उपाध्यक्ष देवी प्रसाद मिश्रा ने कहा, “कई लोगों ने पार्टी टिकट के लिए आवेदन किया है, लेकिन उम्मीदवार का चयन उनकी जीत की क्षमता और पार्टी के प्रति निष्ठा के आधार पर ही किया जाएगा।”

भाजपा और कांग्रेस की प्रतिक्रिया
ओडिशा भाजपा की उपाध्यक्ष लेखाश्री सामंतसिंघर ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “कई लोग परीक्षा मं बैठते हैं, उनमें से कुछ ही प्रथम श्रेणी से पास होते हैं। यही स्थिति है। भाजपा के उम्मीदवार इस परीक्षा में सफल होंगे।” वहीं कांग्रेस के ओडिशा प्रभारी अजय कुमार ने बताया कि बीजेडी में काफी नाराजगी है और उनके कई वरिष्ठ नेता कांग्रेस के साथ संपर्क में हैं। उन्होंने कहा कि शायद वे कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं। ओडिशा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष शरत पटनायक ने बताया कि राज्य में आगामी लोकसभा और विधानसभा चुनावों के लिए तीन हजार से ज्यादा लोगों ने कांग्रेस टिकट के लिए भी आवेदन किया है

संदेशखाली जा रहे TMC के कट्टर विरोधी ISF विधायक को पुलिस ने रोका, जमकर हुई नोकझोंक

पश्चिम बंगाल के उत्तर 24 परगना जिले में स्थित संदेशखाली गांव इन दिनों चर्चा में है। गांव की महिलाओं ने आरोप लगाया है कि टीएमसी नेता शाहजहां शेख ने उनकी जमीन पर कब्जा करने के साथ-साथ कुछ महिलाओं के साथ यौन शोषण भी किया है। बंगाल की पूरी सियासत अभी संदेशखाली के ईर्दगिर्द भटक रही है।

पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी सरकार की मुश्किलें कम होने का काम नहीं ले रही हैं। विपक्ष लगातार उनके खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहा है। इस बीच, टीएमसी के कट्टर विरोधी कहे जाने वाले इंडियन सेक्युलर फ्रंट (आईएसएफ) के विधायक नौशाद सिद्दीकी को संदेशखाली जाने से रोक दिया गया।

आईएसएफ विधायक नौशाद सिद्दीकी मंगलवार सुबह पीड़ित महिलाओं से मुलाकात करने के लिए संदेशखाली जा रहे थे। तभी पुलिस ने उन्हें रोक दिया। पुलिस और विधायक के बीच काफी नोकझोंक भी हुई।

क्या है संदेशखाली विवाद
कोलकाता से लगभग 100 किलोमीटर दूर, सुंदरबन की सीमाओं पर स्थित संदेशखाली इलाका एक महीने से अधिक समय से शाहजहां और उनके समर्थकों के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों के साथ उबाल पर है। दरअसल गांव की महिलाओं ने बीते दिनों आरोप लगाए थे कि टीएमसी नेता शाहजहां शेख और अन्य टीएमसी नेताओं ने उनकी जमीनों पर कब्जा कर लिया और कुछ महिलाओं ने टीएमसी नेताओं पर यौन शोषण के भी आरोप लगाए थे। इसे लेकर संदेशखाली में महिलाओं ने विरोध प्रदर्शन किया। भाजपा कार्यकर्ता भी संदेशखाली में प्रदर्शन कर रहे हैं। शाहजहां शेख राशन घोटाले में आरोपी है और बीते दिनों ईडी टीम पर हुए हमले में भी शाहजहां शेख आरोपी है। वहीं बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने भाजपा पर इस मुद्दे पर राजनीति करने का आरोप लगाया है।

CM तमांग ने किया ‘सिक्किम शिशु समृद्धि योजना’ का एलान, नवजातों के नाम पर खाते में पैसा जमा करेगी सरकार

सिक्किम के मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग ने सोमवार एक नई योजना का एलान किया। इस योजना के तहत सरकार नवजात शिशु के नाम पर 10 हजार 800 रुपये की सावधि जमा (एफडी) करेगी। मुख्ममंत्री ने सोरेंग जिले में ‘जन भरोसा सम्मेलन’के दौरान योजना की घोषणा की।

तमांग ने राज्य में विधानसभा चुनाव से पहले ‘सिक्किम शिशु समृद्धि योजना’ की घोषणा की। उन्होंने कहा कि सावधि जमा को बच्चे के 18 वर्ष पूरा होने पर ही निकाला जा सकेगा। 2011 की जनगणना के मुताबिक, हिमालयी राज्य में 6.10 लाख आबादी है, जो कि देश में सबसे कम है। तमांग सरकार दंपतियों को अधिक बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है, ताकि आबादी की बढ़ती उम्र की चिंता को दूर किया जा सके।

इसमें दो या तीन बच्चे वाले सरकारी कर्मचारियों के लिए अतिरिक्त वेतन वृद्धि, महिला सरकारी कर्मचारियों के लिए एक वर्ष का मातृत्व अवकाश और गैर-सरकारी माताओं के लिए वित्तीय अनुदान शामिल हैं। मुख्यमंत्री तमांग ने पिछले साल कहा था, सिक्किम में मूल आबादी के बीच कम प्रजनन दर गंभीर चिंता का विषय है हमें प्रक्रिया को उलटने के लिए सबकुछ करना चाहिए।

उन्होंने कहा कि सेवा में चार साल पूरे कर चुके करीब 25 हजार अस्थायी कर्मचारियों को नियमित करने के लिए 29 फरवरी को रंगपो में नियमितीकरण के लिए ज्ञापन मिलेगा। इस महीने की शुरुआत में राज्य मंत्रिमंडल ने सरकारी कर्मचारियों के नियमितीकरण और पुरानी पेंशन योजना की बहाली को मंजूरी दी थी।

मुख्यमंत्री ने यह भी घोषणा की कि होम स्टे के निर्माण पर 48 लाख रुपये खर्च किए जाएंगे। जिससे रोजगार के अवसर पैदा होंगे और राज्य में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। तमांग ने सोरेंग जिले के सिंगलिंग में एक फायर स्टेशन का उद्घाटन किया। इसका निर्माण 5.5 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है।

ट्रैक्टर खड़े कर किसानों ने भरी हुंकार, टिकैत बोले- हक नहीं मिला तो किसान आंदोलन के लिए तैयार

संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर भाकियू के बैनर तले किसानों ने दिल्ली-दून हाईवे पर भूराहेड़ी से भंगेला तक ट्रैक्टर खड़े कर दिए। एमएसपी पर गारंटी कानून की मांग रखी गई। इस दौरान कई जगह जाम लग गया। वाहन रेंगते हुए निकले। भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के राष्ट्रीय प्रवक्ता चौधरी राकेश टिकैत ने कहा कि हक नहीं मिला तो किसान आंदोलन के लिए तैयार है। पूरे देश का किसान एक है।

मंगलवार सुबह करीब 11 बजे से किसानों ने तय किए गए स्थानों पर ट्रैक्टर खड़े करने शुरू कर दिए थे। दिल्ली की तरफ मुंह कर ट्रैक्टर खड़े कर किसानों ने सरकार की नीतियों के खिलाफ प्रदर्शन किया।

हाईवे की एक साइड में ट्रैक्टर खड़े किए गए थे, जबकि दूसरी साइड से वाहन चलते रहे। दोपहर के समय भूराहेड़ी, छपार, रामपुर तिराहा, बेगराजपुर और मंसूरपुर में जाम की स्थिति बन गई। मंसूरपुर से नरा जड़ौदा तक वाहन रेंगते हुए चलते नजर आए। हाईवे के कटों से यात्री वाहन निकालने के चक्कर में जाम समस्या बन गया। वाहनों की लंबी कतार लग गई।

भाकियू प्रवक्ता चौधरी राकेश टिकैत रामपुर तिराहा से होते हुए पहले भूराहेड़ी पहुंचे। इसके बाद कार्यकर्ताओं के साथ छपार, रामपुर तिराहा, बेगराजपुर समेत अन्य स्थानों पर पहुंच कर किसानों का हौंसला बढ़ाया।

भाकियू जिलाध्यक्ष योगेश शर्मा ने बताया कि शाम तीन बजे के बाद किसानों के हाईवे से वापस लौटने का सिलसिला शुरू हो गया था। एसपी सिटी सत्यनारायण प्रजापति ने पुलिसकर्मियों के साथ वाहनों को निकलवाने की व्यवस्था की।

‘शाहजहां की गिरफ्तारी पर कोई रोक नहीं है’, संदेशखाली पर टीएमसी के बयान पर हाईकोर्ट ने किया साफ

कलकत्ता हाईकोर्ट ने कहा है कि संदेशखाली मामले में शाहजहां शेख की गिरफ्तारी पर कोई रोक नहीं है और उसे गिरफ्तार किया जाना चाहिए। संदेशखाली विवाद पर दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने ये बात कही। हाईकोर्ट ने कहा ‘हम ये साफ करना चाहते हैं कि शाहजहां शेख की गिरफ्तारी पर कोई रोक नहीं है। एफआईआर में भी बतौर आरोपी शाहजहां शेख का नाम है।

ऐसे में उसे गिरफ्तार करने की जरूरत है।’ कोर्ट ने कहा मामले में शाहजहां शेख, प्रवर्तन निदेशालय, केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) और राज्य के गृह सचिव को पक्षकार बनाया जाए। मुख्य न्यायाधीश टी.एस. शिवगणनम की अगुवाई वाली खंडपीठ ने निर्देश दिया कि उच्च न्यायालय रजिस्ट्री द्वारा समाचार पत्रों में एक सार्वजनिक नोटिस दिया जाए जिसमें यह कहा गया हो कि शेख को मामले में पक्षकार बनाया गया है, क्योंकि वह फरार हैं और उन्हें पांच जनवरी को प्रवर्तन निदेशालय पर भीड़ के हमले के बाद से सार्वजनिक रूप से नहीं देखा गया है।

हाईकोर्ट ने कहा- शाहजहां की गिरफ्तारी पर कोई रोक नहीं लगाई
कलकत्ता हाईकोर्ट ने संदेशखाली मामले पर स्वतः संज्ञान लेकर सुनवाई की। सुनवाई के दौरान वकील ने कहा कि कई लोग संदेशखाली जाने की कोशिश कर रहे हैं। कुछ लोगों को जाने दिया जा रहा है और कुछ को गिरफ्तार किया जा रहा है। मैं कोर्ट से अपील करता हूं कि एक स्वतंत्र कमेटी बनाई जाए, जो संदेशखाली जाकर लोगों से बात करे।

सुनवाई के दौरान मामले के एमिकस क्यूरी (न्याय मित्र) ने कहा कि कई मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि शाहजहां शेख को इसलिए गिरफ्तार नहीं किया जा रहा है क्योंकि कोर्ट ने उसकी गिरफ्तारी पर रोक लगाई हुई है। ये बात साफ होनी चाहिए। इस पर मामले पर सुनवाई कर रहे हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस ने कहा कि हमने सिर्फ एसआईटी के गठन पर रोक लगाई हुई है, लेकिन शाहजहां शेख को पकड़ने पर कोई रोक नहीं है। अब हाईकोर्ट में इस मामले पर 4 मार्च को फिर सुनवाई होगी।

अभिषेक बनर्जी ने कोर्ट द्वारा शाहजहां की गिरफ्तारी पर रोक का दावा किया था
हाईकोर्ट की यह टिप्पणी ऐसे वक्त सामने आई है, जब टीएमसी सांसद अभिषेक बनर्जी ने रविवार की रात ही अपने एक बयान में कहा कि बंगाल सरकार कोर्ट के आदेश की वजह से शाहजहां शेख को गिरफ्तार नहीं कर पा रही है। कोर्ट के आदेश से पुलिस के हाथ बंधे हुए हैं। अभिषेक बनर्जी के बयान पर विपक्षी पार्टी भाजपा ने निशाना साधा और इसे कोर्ट की अवमानना करार दिया था।

जेपी नड्डा ने संकल्प पत्र सुझाव अभियान की शुरुआत की, ‘विकसित भारत, मोदी की गारंटी

भारत में इस साल लोकसभा चुनाव होने हैं। इसके लिए सभी पार्टियां जोर-शोर से प्रचार प्रसार कर रही हैं। इस बीच, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने सोमवार को ‘संकल्प पत्र सुझाव अभियान’ की शुरुआत की। इसके साथ ही ‘विकसित भारत, मोदी की गारंटी’ रथ को हरी झंडी दिखाई।

भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष नड्डा ने दिल्ली में पार्टी मुख्यालय में भाजपा संकल्प समिति की बैठक की अध्यक्षता की। इस दौरान उन्होंने कहा कि हम सब जानते हैं कि आज ‘विकसित भारत – मोदी की गारंटी’ विषय को लेकर पूरे देश में वीडियो वैन के माध्यम से 2024 के चुनाव में अगले पांच वर्ष के लिए जो लक्ष्य रखना है उसके लिए जनता-जनार्दन के आशीर्वाद और सुझाव लेने का हम सबने निर्णय किया है।

विकसित भारत की ओर लंबी छलांग
उन्होंने कहा कि विकसित भारत, आत्मनिर्भर भारत, विश्व मित्र भारत के सपने जो 2014 में अकल्पनीय थे, आज वो मोदी जी के नेतृत्व में साकार हो रहे हैं और अब भारत इस अमृतकाल में विकसित भारत की ओर लंबी छलांग लगाने के लिए तैयार है।

15 मार्च तक होगा पूरा कार्य
उन्होंने आगे कहा कि भाजपा ने तय किया है कि देश के सभी लोकसभा क्षेत्रों में वीडियो वैन के माध्यम से विकसित भारत की कल्पना के साथ प्रधानमंत्री मोदी जी द्वारा किए गए कार्यों और आत्मनिर्भर भारत के लिए इस अमृतकाल में हो रहे कार्यों से संबंधित सभी बातों को भारत की जनता के सामने रखेंगे। इसी के साथ हमारे संकल्प पत्र के लिए सुझाव मांगने का कार्य भी हम सब 15 मार्च तक पूरा करेंगे।

नफरती बयान के मामले में अन्नामलाई को राहत, शीर्ष अदालत ने हाईकोर्ट के आदेश पर लगाई रोक

शीर्ष अदालत ने सोमवार को तमिलनाडु भाजपा प्रमुख के अन्नामलाई को राहत दी। दरअसल, सर्वोच्च न्यायालय ने नफरती बयान देने के मामले में उनके खिलाफ दर्ज आपराधिक मामले में उच्च न्यायालय के आदेश पर रोक लगा दी। अन्नामलाई ने अक्तूबर 2022 में एक यूट्यूब चैनल को इंटरव्यू दिया था। जिसमें उन्होंने पटाखे फोड़ने को लेकर कथित तौर पर ईसाई समुदाय के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी।

शीर्ष अदालत ने मामले पर क्या कहा
न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता की पीठ मामले में सुनवाई कर रही थी। पीठ ने इंटरव्यू में दिए गए बयानों की ट्रांसक्रिप्ट को देखा और कहा कि पहली नजर में यह कोई नफरत फैलाने वाला बयान नहीं है। इसमें कोई मामला नहीं बनता है। पीठ ने शिकायतकर्ता को नोटिस जारी किया। याचिकाकर्ता ने आरोप लगाया है कि दिवाली से दो दिन पहले अन्नामलाई ने 22 अक्तूबर 2022 को एक यूट्यूब चैनल को इंटरव्यू दिया, जिसमें उन्होंने पटाखे फोड़ने के मुद्दे पर ईसाई समुदाय के खिलाफ नफरती बयान दिया।

याचिकाकर्ता को नोटिस जारी करने का आदेश
शीर्ष अदालत की पीठ ने कहा, 29 अप्रैल 2024 से शुरू होने वाले हफ्ते में (याचिकाकर्ता को) नोटिस जारी करें। इस बीच निचली अदालत में आगे की कार्यवाही पर रोक रहेगी। अन्नामलाई की ओर से अदालत में वरिष्ठ वकील सिद्धार्थ लूथरा और वकील साई दीपक पेश हुए। उन्होंने पीठ को इंटरव्यू की ट्रांसक्रिप्ट दिखाई और कहा कि यह नफरत फैलाने वाले बयान का मामला नहीं है।

अन्नामलाई ने उच्च न्यायालय के आदेश को शीर्ष अदालत में दी चुनौती
अन्नामलाई ने मद्रास उच्च न्यायालय के आदेश को शीर्ष अदालत में चुनौती दी है। उच्च न्यायालय ने इस मामले में तमिलनाडु भाजपा प्रमुख को जारी समन रद्द करने से इनकार कर दिया था। उच्च न्यायालय ने आठ फरवरी को जारी समन रद्द करने से इनकार कर दिया था।