प्रज्ञेश प्रकाश भट्ट
कन्नौज। महंगाई की मार से जन्माष्टमी का त्यौहार फीका हो गया। मेवा के दाम आसमान छू रहे हैं। लोगो के पास आमदनी के जरिये कम है। सामान कैसे खरीदे। यह नजारा आज स्पष्ट बाजार में नजर आया। भगवान की झांकी सजाने के समान की दुकानें सजी थीं लेकिन खरीददार कम थे। भगवान की मूर्ति बेचने वाले दुकानदारों का कहना है कि मूर्ति पर सरकार ने 18% जीएसटी लगा रखा है। राम के नाम पर सत्ता में आई भाजपा सरकार ने मूर्तियों को भी नहीं छोड़ा है। 18% जीएसटी लगाने से मूर्तिया तेज हो गई है।
इसी तरह मेवा के दाम आसमान छू रहे हैं। गरी 240 रुपया कीलो है। छुआरा 300 रुपया, किसमिस 300 रुपया, चिरौंजी 1400 रुपया, मखाना 800 रुपया, काजू 800 रुपया, बादाम 900 रुपया पहुँच गये है। मेवा के दामों में हुई वृद्धि के कारण लोग अब सिर्फ भगवान की पूजा के लिए औपचारिकता भर सामान खरीद रहे हैं क्योंकि महंगाई चरम पर है। त्यौहार जनता कैसे मनाये।
वैसे तो जन्माष्टमी 30 को ही है लेकिन आज भी बाजार में नार दार खीरे की बिक्री हुई जो आज 40 रुपया में बाजार में बिका। आज दिन भर रिमझिम बारिश बाजार में होती रही जिसके कारण बाजार में ग्राहकों की कमी रही। त्यौहार जैसा माहौल बाजार में नजर नही आया।